अयोध्या: अयोध्या विवाद को मध्यस्थता के जरिए सुलझाने के लिए सुप्रीम कोर्ट द्वारा गठित तीन सदस्यीय कमेटी के सदस्य आयोध्या पहुंच चुके हैं. बुधवार को इस मामले पर सुनवाई होगी और मध्यस्थता से विवाद का हल निकालने की कोशिश होगी.
बता दें, मंगलवार को ऑल इण्डिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के अध्यक्ष मौलाना सैय्यद राबे हसनी नदवी, महासचिव मौलाना वली रहमानी की मौजूदगी में लखनऊ के नदवा कालेज में हुई बोर्ड की बाबरी मस्जिद से संबंधित कमेटी की बैठक हुई. इस बैठक में बोर्ड नेतृत्व ने इस मामले पर अपना रुख एक बार फिर दोहराते हुए कहा कि विवाद पर बोर्ड का जो रुख पहले रहा है, आज भी वह उस पर कायम है. उसमें कोई बदलाव नहीं हुआ है.
बैठक में अयोध्या विवाद में प्रमुख मुस्लिम पक्षकार उ.प्र.सुन्नी सेण्ट्रल वक्फ बोर्ड के चेयरमैन जुफर फारूकी, इकबाल अंसारी, महबूब अली और मुस्लिम पक्ष से प्रमुख वकील जफरयाब जीलानी, शमशाद अहमद, फुजैल अय्यूबी आदि भी शामिल हुए.
इस दौरान ऑल इण्डिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ने कहा है कि अयोध्या मसले को लेकर गठित तीन सदस्यीय मध्यस्थ पैनल में शामिल आध्यात्मिक गुरु श्री श्री रविशंकर अयोध्या विवाद पर पहले अपना रुख स्पष्ट करें.
सुरक्षा के कड़े इंतजाम
जिला प्रशासन ने इंजिनियरिंग कैंपस को पूरी तरह से बैरिकेट कर दियाय है. किसी को भी वहां जाने की इजाजत नहीं होगी. यहां तक कि जिस ऑडिटोरियम में सुनवाई रखी गई है, वहां सिर्फ वही लोग जा सकेंगे जिन्हें मध्यस्थता के लिए बुलाया गया है. सदस्यों से मिलने और बातचीत का यह सिलसिला अगले तीन दिनों तक जारी रहेगा.
हिंदी और अंग्रेजी टाइपिस्ट रहेंगे मौजूद
जिला प्रशासन ने अपनी तरफ से पूरी तैयारी कर दी है. सूत्रों की मानें तो मध्यस्थता के दौरान दोनों पक्षों के बीच जो भी बातचीत होगी, उसके पॉइंटर टाइप किए जाएंगे. इसके लिए हिंदी और अंग्रेजी दोनों भाषाओं के टाइपिस्ट भी यहां मौजूद रहेंगे.