राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजित डोभाल ने सोमवार को एक बार फिर आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई पर जोर दिया और बताया कि किस तरह पाकिस्तान भारत के खिलाफ आतंकवाद को बढ़ावा दे रहा है। दरसल, राष्ट्रीय जांच एजेंसी के आतंकबाद निरोधक दस्ते/ विशेष कार्यबल के प्रमुखों का दिल्ली में राष्ट्रीय सम्मेलन टल रहा है। इस कार्यक्रम में गृह राज्यमंत्री जी किशन रेड्डी, राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजित डोभाल, एनआईए के डीजी वाईसी मोदी, पूर्व आईबी विशेष निदेशक और नगालैंड के राज्यपाल आरएन रवि शामिल हैं।
सोमवार को नई दिल्ली में सम्मलेन को संबोधित करते हुए एनएसए अजित डोभाल ने कहा, पाकिस्तान ने आतंकवाद को अपने सिस्टम का हिस्सा बना लिया है, जिसका इस्तेमाल वह भारत के खिलाफ कर रहा है। डोभाल ने यह भी कहा कि हम आतंकियों को खत्म करने में सफल हो रहे हैं, लेकिन अब हमारा अगला निशाना आतंकियों की विचारधारा को खत्म करना है।
डोभाल ने कहा कि, आतंकवाद पर कई बार बातें हुई हैं, हर देश आतंक के खिलाफ 3 दशक से लड़ रहा है। आतंकवाद से लड़ना हर किसी की सोच में है, लेकिन आप आतंकवाद से सीधा नहीं लड़ते हैं क्योंकि आप सिर्फ आतंकियों को मारकर, हथियारों को खत्म कर, फंडिंग को रोकने पर ध्यान लगा रहे हैं और इसे ही लड़ाई का हिस्सा मान रहे हैं।
National Security Advisor (NSA), Ajit Doval in Delhi: One of the biggest pressures that has come on Pakistan today is because of the proceedings of Financial Action Task Force (FATF), it has created so much pressure on them that probably no other action could have done. pic.twitter.com/OMilhPzScX
— ANI (@ANI) October 14, 2019
एनआईए के डीजी योगेश चंदर मोदी ने सम्मेलन में कहा, ‘हमने इस बात पर गौर किया है कि जमात-उल-मुजाहिद्दीन बांग्लादेश ने बिहार, महाराष्ट्र, केरल और कर्नाटक में अपनी गतिविधियां बढ़ा दी हैं। संबंधित एजेंसियों के साथ 125 संदिग्धों के नाम साझा किए गए हैं।’
एनआईए के आईजी आलोक मित्तल ने कहा, ‘जम्मू-कश्मीर में आतंक के वित्त पोषण के मुख्य मामले में विशेष संगठनों के प्रमुखों और शीर्ष अलगाववादी नेताओं के को गिरफ्तार कर लिया गया है और उनके खिलाफ चार्जशीट दाखिल की जा चुकी है। अभी तक किसी को भी जमानत नहीं मिली है। उन्हें हवाला ट्रांसफर और तोहफे के रूप में पाकिस्तान उच्चायोग पैसा भेजा करता था।’
उन्होंने आगे कहा, ‘पंजाब में आतंकी गतिविधियों को पुनर्जीवित करने के लिए सीमा पार से लगातार प्रयास किए जा रहे हैं। 16 को आठ मामलों में लक्षित हत्याओं के लिए गिरफ्तार किया गया है। इसमें खालिस्तान लिबरेशन फोर्स की संलिप्तता भी पाई गई है। इसके लिए ब्रिटेन, इटली, फ्रांस और ऑस्ट्रेलिया से फंड भेजे जाते थे।’
आलोक मित्तल ने कहा, ‘सिख फॉर जस्टिस की भारच विरोधी गतिविधियों के आधार पर उनके खिलाफ ताजा मामला दर्ज किया गया है। वह सोशल मीडिया पर एक अभियान चला रहे हैं और सिख युवकों को भड़काने की कोशिश कर रहे हैं। पिछले साल यूपी के शामली से पांच लोगों को गिरफ्तार किया गया। उन्होंने इस बात को स्वीकार किया कि वह ‘रेफरेंडम 2020′ के लिए युवकों को भड़का रहे थे।’