पूर्वोत्तर रेलवे के बजट में हुई 41 प्रतिशत की बढ़ोत्तरी

नई दिल्ली: रेलवे लाईन के विस्तार के लिए बजट में सबसे अधिक धन मिला है। पूर्वोत्तर रेलवे के बजट में 41 फीसदी का इजाफा हुआ।

रेल मंत्रालय के अनुसार 2022-23 के बजट में पूर्वोत्तर रेलवे को कुल 6306 करोड़ आवंटित हुआ है जबकि पिछले साल 4467 करोड़ रुपये मिला था। इसमें नई रेल लाइनों के विस्तार लिए 535 करोड़ रुपये स्वीकृत हुए। पिछले वर्ष की तुलना में ये 41 फीसद अधिक है। बजट में सबसे अधिक धन दोहरीकरण और तीसरी लाइन के लिए 2192 करोड़ रुपये दिया गया है जबकि पिछले साल 1786 करोड़ रुपये मिला था।

पूर्वोत्तर रेलवे- पश्चिमी बिहार, उत्तर प्रदेश, और उत्तराखण्ड में सेवा प्रदान करती है। यह वाराणसी, सारनाथ, लखनऊ, इलाहाबाद, कुशीनगर, गोरखपुर, लुम्बिनी, अयोध्या, मगहर, मथुरा आदि जैसे प्रमुख पर्यटन स्थलों और सांस्कृतिक केन्द्रों से होकर गुजरती है।

वहीं सहनवां-दोहरीघाट और खलीलाबाद-बहराइच रेल लाइन निर्माण के लिये पूर्वोत्तर रेलवे को 535 करोड़ रुपये पहले भी मिल चुके हैं। रेल लाइन के लिए भूमि अधिग्रहण शुरू हो गया है।

इसके साथ ही पूर्वोत्तर रेलवे के यात्री सुविधाओं और कर्मचारी कल्याण के लिए 512.23 करोड़ और कर्मचारी कल्याण से संबंधित कार्य के लिए 15.33 करोड़ धन राशी का आवंटित किया गया है। यात्री सुविधाओं के लिए पिछले साल के बजट की अपेक्षा करीब 30 प्रतिशत अधिक धन मिला है। इस बजट से स्टेशनों का पुनर्विकास किया जाएगा। पर्याप्त संख्या में स्वचलित सीढ़ियां, लिफ्ट, अत्याधुनिक प्रतीक्षालय और खानपान यूनिट की सुविधाओं को बढ़ाया जाएगा।

साल 2022-23 मई पूर्वोत्तर रेलवे को जो बजट आवंटित किया गया है उसमें नई रेल लाइन के लिए -535 करोड़ रुपए, आमान परिवर्तन – 262 करोड़ रुपए, दोहरीकरण व तीसरी रेल लाइन – 2192 करोड़, रेल पथ नवीनीकरण – 370 करोड़, आरओबी व आरयूबी निर्माण के लिए 331 करोड़, समपारों का रखरखाव व उन्नयन कार्य के लिए 103 करोड़, पुलों का सु²ढ़ीकरण के काम के लिए 100 करोड रुपए आवंटित किए गए हैं। सिग्नल एवं दूर संचार कार्य के लिए 69.5 करोड़, अन्य विद्युत कार्य के लियूए 924 करोड़, कंप्यूटरीकरण कार्य के लिए 3.65 करोड़, यातायात सुविधाओं के लिये 88.45 करोड़, यात्री सुविधाओं से संबंधित कार्य के लिये 512.23 करोड़ और कर्मचारी कल्याण से संबंधि कार्य के लिये 15.33 करोड़ व कर्मचारियों का प्रशिक्षण के लिए 7.5 करोड़ आवंटित किया गया है।

रेलमंत्री मंत्री अश्विनी वैष्णव के अनुसार, रेलवे में सरकार के बजट की ओर से एक लाख 37 हजार करोड़ का कैपिटल इन्वेस्टमेंट सपोर्ट दिया गया है। यह आंकड़ा बहुत बड़ा है। इससे निवेश की कमी दूर हो जायेगी और लंबे समय से जो प्रोजेक्ट रुके हुए थे, उसे पूरा करने में मदद मिलेगी।

वहीं अगले चरण में शुरू की जाने वाली वन्दे भारत की भी कई ट्रेनें पूर्वोत्तर रेलवे के हिस्से में आने जा रही हैं।

पूर्वोत्तर रेलवे को इस बजट से नई रेल लाइन के विस्तार पटरियों के दोहरीकरण को मजबूती मिलेगी। यात्री सुविधाओं को बढ़ाया जाएगा। रेलवे के अनुसार खासतौर पर दोहरीकरण और तीसरी लाइन में आएगी तेजी आयेगी। इस बजट से इन इलाकों के रेलवे स्टेशनों और रेलमार्गों का विकास किया जायेगा। हालांकि 41 फीसदी अधिक आवंटन को उत्तरप्रदेश विधानसभा चुनाव से जोड़कर भी देखा जा रहा है।

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