भारत के प्रधान न्यायाधीश (CJI) डी वाई चंद्रचूड़ ने शनिवार यानी बीते कल एक बड़े बयान में कहा कि कानूनी शिक्षा तक पहुंचने और कानूनी पेशे में एंट्री करने में कई समस्याएं हैं। उन्होंने कहा कि कॉमन लॉ एडमिशन टेस्ट (CLAT) को पास करना इस प्रकार की बाधा का एक उदाहरण था। मुख्य न्यायाधीश चंद्रचूड़ ने कहा कि CLAT को मात्र वही छात्र पास कर सकते हैं जिनकी पहुंच अच्छे इंग्लिश मीडिया के स्कूलों तक है।
मुख्य न्यायाधीश ने अपने बयान में कहा कि ‘CLAT को केवल वही लोग क्रैक कर सकते हैं, जिनकी अंग्रेजी स्कूलों और अच्छे स्कूलों तक पहुंच है। कानूनी पेशे तक पहुंच है? हम बाधाएँ डाल रहे हैं।’ सीजेआई मुंबई में एक समारोह को संबोधित कर रहे थे जहां उन्हें बार काउंसिल ऑफ महाराष्ट्र एंड गोवा द्वारा सम्मानित किया गया। इस दौरान सीजेआई ने अदालती कार्यवाही के लाइव-स्ट्रीमिंग की वकालत की। उन्होंने कहा कि इससे कानून के उन छात्रों को मदद मिलेगी जिनके पास अच्छे प्रोफेसर नहीं हैं।
मुख्यन्यायधीश चंद्रचूड़ ने कहा है, ‘मुझे बताया गया है कि हमें लाइव स्ट्रीमिंग क्यों नहीं करनी चाहिए, इसका कारण यह है कि वकील नाटकीयता में शामिल होंगे। मैं वह निंदक नहीं हूँ। ड्रामा जरूर होगा। एक कारण यह भी है कि कानून के ज्ञान तक पहुंच होगी, जिसके स्कूलों में अच्छे प्रोफेसर नहीं हैं। वे किसी भी मामले को देख सकते हैं और कक्षा में चर्चा हो सकती है।