उत्तर प्रदेश विधानसभा के शीतकालीन सत्र के दौरान मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने संभल और बहराइच हिंसा पर विस्तार से बयान दिया। सीएम ने कहा कि 2017 से लेकर अब तक साम्प्रदायिक हिंसा में 97 से 99 प्रतिशत तक कमी आई है, जो राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो (NCRB) के आंकड़ों से प्रमाणित है।
संभल में हुए हालिया सर्वे को लेकर उठ रहे सवालों पर सीएम ने कहा कि यह सर्वे न्यायपालिका के आदेश पर हो रहा है और विपक्ष इसे गुमराह करने की कोशिश कर रहा है। उन्होंने यह भी कहा कि ‘जय श्रीराम’ का नारा देने में कुछ गलत नहीं है, यह सिर्फ एक अभिवादन है, जैसा कि पश्चिमी भारत में ‘राम-राम’ कहा जाता है।
संभल में इतिहास से जुड़ा विवाद
सीएम योगी ने संभल में सांप्रदायिक हिंसा के इतिहास को सामने रखा और कहा कि 1947 से लेकर अब तक संभल में 209 हिंदुओं की मौत हुई है। उन्होंने कहा कि 1947 से लेकर 1990 तक हर दशक में दंगे हुए और हिंदुओं की सामूहिक हत्याएं की गईं। 1978 में 184 हिंदुओं की सामूहिक हत्या और जलाने की घटना का उदाहरण देते हुए उन्होंने विपक्ष पर आरोप लगाया कि वह इस सच्चाई को स्वीकार नहीं करना चाहते।
सीएम ने कहा कि इस मामले को विपक्ष अपनी राजनीतिक एजेंडे के तहत उठा रहा है, हालांकि यह लंबे समय से चली आ रही घटनाओं का हिस्सा है। उन्होंने यह भी कहा कि जब भी दंगे हुए, विपक्ष ने कभी इन घटनाओं पर संवेदना व्यक्त नहीं की, लेकिन आज अचानक वह इस मुद्दे पर राजनीति कर रहे हैं।
2012-2017 के दौरान साम्प्रदायिक हिंसा का जिक्र
योगी आदित्यनाथ ने 2012 से 2017 तक के दौरान प्रदेश में साम्प्रदायिक हिंसा पर भी बात की। उन्होंने बताया कि इस अवधि में 817 दंगे हुए थे, जिनमें 192 लोग मारे गए। 2007 से 2011 के बीच 616 साम्प्रदायिक घटनाएं हुईं, जिनमें 121 मौतें हुईं। सीएम ने यह दावा किया कि उनकी सरकार ने प्रदेश में कानून-व्यवस्था को सुधारने के लिए प्रभावी कदम उठाए हैं।
विपक्ष पर हमला और शिवपाल यादव की चुनौती
सीएम ने विपक्ष पर भी निशाना साधा और कहा कि नेता प्रतिपक्ष और वरिष्ठ विपक्षी नेता अपनी राजनीति को धार्मिक मुद्दों से जोड़कर समाज को गुमराह कर रहे हैं। उन्होंने यह भी कहा कि जब वह और उनके समर्थक एक-दूसरे से मिलते हैं, तो “राम-राम” कहते हैं, और यह कोई चिढ़ाने का तरीका नहीं है। उन्होंने विपक्ष के खिलाफ आरोप लगाया कि वह हर छोटे मुद्दे को बड़ा बनाकर जनता को भड़काने की कोशिश कर रहे हैं।
इसके अलावा, सीएम योगी ने चाचा शिवपाल यादव पर भी हमला किया। उन्होंने कहा कि विपक्ष को आगामी चुनावों में अपनी असलियत का सामना करना पड़ेगा। उन्होंने यह भी कहा कि उपचुनावों के परिणामों ने यह साबित कर दिया कि जनता अब विपक्ष की सच्चाई समझने लगी है और उन्हें “सपाचट” का जवाब दे दिया है।
मंदिर-मस्जिद पर विवाद
सीएम ने कहा कि कुछ लोग अब भी यह सवाल उठा रहे हैं कि क्या मंदिरों की स्थिति को लेकर कोई विवाद होगा या नहीं। उन्होंने बाबरनामा का हवाला देते हुए कहा कि इतिहास में हर मंदिर को तोड़ा गया और वहां मस्जिदें बनवाई गईं। इस संदर्भ में उन्होंने कहा कि जब तक अदालत के आदेशों का पालन नहीं होगा, तब तक प्रशासन को भी अपनी जिम्मेदारियां निभानी चाहिए।
आखिरकार, उपचुनाव के नतीजों पर योगी की टिप्पणी
सीएम योगी ने उपचुनाव के परिणामों पर भी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि कुंदरकी में बीजेपी की जीत ने यह साबित कर दिया कि लोग अब अपनी जड़ें पहचान रहे हैं और विपक्ष की झूठी बातों को सिरे से नकार रहे हैं। उन्होंने यह भी कहा कि चुनावी प्रक्रिया में विपक्ष के आरोपों की “खटाखट” असलियत सामने आ चुकी है।