ऐसे तो पाकिस्तान इंटरनेशनल भिखारी देश है. दुनियाभर के देशों के सामने पैसों के लिए झोली फैलाए रहता है, लेकिन देश के अंदर भी भिखारियों की संख्या बढ़ती जा रही है. कराची शहर भिखारियों से पटा पड़ा है. शहर हर जगह भिखारी दिखाई देते हैं, इनकी संख्या लाखों में है. ईद के मौके पर लाखों की संख्या में आए ये भिखारी शहर के बाजारों, सड़कों, ट्रैफिक सिग्नल, शॉपिंग मॉल्स को घेरे हुए हैं. यहां तक की मस्जिद के बाहर भी भिखारियों ने डेरा जमा लिया है.
पाकिस्तान की आर्थिक स्थिति ठीक नहीं है. देश में महंगाई काफी बढ़ी हुई है और लोगों को दिक्ततों का सामना करना पड़ रहा है. इन सब के बीच पाकिस्तान में भिखारियों की संख्या तेजी से बढ़ती जा रही है. ये सिर्फ भीख नहीं मांग रहे बल्कि अपराध भी कर रहे हैं. इनके डर से लोग घर से बाहर निकलने में डरने लगे हैं.
द न्यूज इंटरनेशनल अखबार ने कराची के अतिरिक्त महानिरीक्षक इमरान याकूब मिन्हास के हवाले से बताया कि कराची में रमजान के महीने में लगभग 3 से 4 लाख पेशेवर भिखारी आए हैं. इसमें सिर्फ भिखारी नहीं हैं अपराधी भी हैं. ये सभी देश के कई हिस्सों से यहां पहुंचे हैं. उन्होंने मंगलवार को जारी एक बयान में कहा कि हमें अपराधों का पता लगाने की जरुरत है और इसके लिए शहर में कैमरे लगाए जाने चाहिए.
जियो न्यूज की रिपोर्ट बताती है कि रमज़ान के महीने में कराची में 6,780 आपराधिक घटनाएं घटी हैं. वहीं पाकिस्तान के मानवाधिकार आयोग के अनुसार, कराची में पिछले साल सड़क पर अपराध की हजारों घटनाएं दर्ज कीं, जिनमें सौ से अधिक लोग मारे गए.
पाकिस्तान के भिखारियों को सऊदी में भी खौफ है. हज के नाम पर पाकिस्तानी वहां जाते हैं और भीख मांगते हैं. प्रवासी पाकिस्तानी सचिव जीशान खानजादा ने पिछले साल कहा था कि लोगे उमरा वीजा पर सऊदी अरब जाते हैं और फिर भीख मांगने का काम शुरू कर देते हैं. मक्का परिसर के अंदर कई चोर पकड़े गए, इसमें ज्यादातर पाकिस्तान के थे. मामला इतना बिगड़ गया कि विमान से सऊदी अरब जाने वाले कई भिखारियों को उतारा गया.