भाजपा ने राष्ट्रीय सचिव अनुपम हाजरा को पार्टी से निकाला, जानें पूरा मामला

भाजपा ने राष्ट्रीय सचिव अनुपम हाजरा को पार्टी से निकाला, जानें पूरा मामला

भारतीय जनता पार्टी ने पार्टी की लाइन से हटकर दिए गए बयान पर अनुपम हाजरा को पार्टी के राष्ट्रीय सचिव पद से हटा दिया है। यह निर्णय पार्टी प्रमुख जेपी नड्डा और केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने कोलकाता यात्रा के दौरान लिया। इस निर्णय को तत्काल प्रभाव से लागू किया जाएगा।

अनुपम हाजरा 2014 में तृणमूल कांग्रेस के टिकट पर बोलपुर से चुने गए थे लेकिन बाद में वह भाजपा में शामिल हो गए थे। पार्टी ने उन्हें राज्य में अनुसूचित जाति का अपना चेहरा बनाया और उन्हें 2020 में वरिष्ठ पद दिया गया था। उन्हें 2023 में एक और कार्यकाल दिया गया था। उन्हें बिहार में पार्टी का सह-प्रभारी भी बनाया गया था लेकिन पिछले महीनों में उनके बयानों से विवाद खड़ा हो गया था।

इसी साल के सितंबर महीने में अनुपम हाजरा ने यह सुझाव देकर सुर्खियां बटोरीं थीं कि तृणमूल कांग्रेस के “भ्रष्ट” नेता, जो सीबीआई या प्रवर्तन निदेशालय द्वारा सम्मन की उम्मीद कर रहे हैं, उन्हें भाजपा में शामिल होने के लिए उनसे संपर्क करना चाहिए। भाजपा की राज्य इकाई ने अनुपम के इस टिप्पणी को उनकी व्यक्तिगत टिप्पणी बताकर खुद को दूर कर लिया था। तृणमूल ने अनुपम की टिप्पणी के बाद भाजपा पर “वॉशिंग मशीन” होने का आरोपों लगाया था।
अनुपम ने एक वीडियो में यह कहा था कि आप मेरे फेसबुक पेज पर जा सकते हैं और मुझसे संपर्क कर सकते हैं। यदि आपको आगे आने और भाजपा में शामिल होने के बारे में बात करने में शर्म आती है तो आप मुझसे संपर्क कर सकते हैं और मुझे अपनी इच्छा बता सकते हैं। हम देखेंगे कि आपकी सेवाओं का उपयोग कैसे किया जा सकता है? उनका यह वीडियो बहुत वायरल हुआ था।
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