कर्नाटक की पड़ोसी राज्य तमिलनाडु से कावेरी जल विवाद को लेकर रार छिडी हुई है। कनार्टक में कई संगठनों ने इसका विरोध जताते हुए आज यानी 26 सितंबर को राजधानी बेंगलुरु बंद का ऐलान किया है। ऐसे में पूरी राजधानी में स्कूल कॉलेज बंद कर दिए गए हैं और धारा 144 लागू है। बता दें कि आगामी शुक्रवार कई संगठनों ने राज्यव्यापी बंद का आह्वान किया है।
कर्नाटक में एसोसिएटेड मैनेजमेंट ऑफ इंग्लिश मीडियम स्कूल की तरफ से ऐलान में घोषणा की गई है कि मंगलवार को राजधानी बेंगलुरु में बंद रहेंगे। वहीं बेंगलुरु सिटी के डिप्टी कमिश्नर दयानंद केए ने भी बंद की आशंकाओं को भापते हुए शहर के सभी स्कूलों और कॉलेजों में छुट्टी के निर्देश दिए हैं। बेंगलुरू बंद के ऐलान पर कर्नाटक के सीएम सिद्धारमैया ने कहा कि हम बंद को नहीं रोकेंगे, ये उनका अधिकार है। इस दौरान उन्होंने भाजपा और जेडीएस पर राजनीति करने का आरोप भी लगाया।
सामचार एजेंसी एएनआई को डीसीपी सेंट्रल बेंगलुरु शेखर टी टेककन्नवर ने बताया, .हमने पर्याप्त बंदोबस्त किए हैं…आयुक्त के आदेश के अनुसार, किसी भी विरोध या जुलूस की अनुमति नहीं है…यातायात यह सामान्य है।” बेंगलुरु के व्हाइटफील्ड में भारी संख्या में फोर्स को तैनात किया गया है।
बता दें कि कर्नाटक में बंद का ऐलान करने वाले दो धड़ हैं। ऐसे में एक धड़ ने मंगलवार को बंद का ऐलान किया है, जबकि दूसरे धड़ ने शुक्रवार को राज्यव्यापी बंद का आह्वान किया है। ऐसे में भ्रम की स्थिति पैदा हो गई है। वहीं तीन दिन पहले बंद का ऐलान करने वाले कर्नाटक जल संरक्षण समिति के अध्यक्ष कुरुबुर शांताकुमार ने मंगलवार बंद को समर्थन करने की बात कही है। वहीं दूसरी ओर शुक्रवार को प्रदेशव्यापी बंद का ऐलान करने वाले वतल नागराज ने स्पष्ट किया है कि ‘कन्नड़ ओक्कुटा’ आज के बंद का समर्थन नहीं कर रहा है।