नई दिल्ली। प्रवर्तन निदेशालय ED ने उर्वरकों के अवैध निर्यात के केस में राजस्थान के सीएम अशोक गहलोत के भाई अग्रसेन गहलोत को सोमवार यानी आज पूछताछ के लिए समन भेजा है। अग्रसेन को दिल्ली कार्यालय में अधिकारियों के सामने प्रस्तुत होना है। सूत्रों ने पुष्टि की कि अग्रसेन गहलोत अपने अधिवक्ताओं के साथ ईडी मुख्यालय जाएंगे। उर्वरक निर्यात में कथित धोखाधड़ी में उनका नाम सामने आने के पश्चात बीते माह अधिकारियों ने उनसे भी पूछताछ की। अग्रसेन गहलोत ने बाद में जांच एजेंसी की कार्रवाई से राहत की मांग करते हुए कोर्ट तक पहुंचे थे।
बीते वर्ष ईडी ने कथित उर्वरक घोटाले के मामले में अग्रसेन गहलोत से जुड़े कई ठिकानों पर छपा भी मारा था । धनशोधन के आरोप में 22 जुलाई, 2020 को अग्रसेन के घर और अन्य प्रतिष्ठानों पर छापेमारी की गई थी। ईडी ने तब भी उन्हें समन भेजा था, लेकिन अग्रसेन तब पूछताछ के लिए पेश नहीं हुए थे। बीते सप्ताह राजस्थान उच्त्तम न्यायालय की जोधपुर पीठ ने अग्रसेन गहलोत की गिरफ्तारी पर रोक लगा दी थी। अदालत ने उन्हें अंतरिम राहत देते हुए इस बात पर सहमति जताई थी कि अग्रसेन जांच में ईडी की मदद करेंगे।
कांग्रेस केंद्र पर आरोप लगाती रही है कि BJP के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार जानबूझकर उन लोगों पर निशाना साध रही है जो राजस्थान के CM खास माने जाते हैं। उन पर आरोप है कि अग्रसेन के स्वामित्व वाली कंपनी म्यूरेट ऑफ पोटाश (एमओपी) उर्वरक का निर्यात कर रही है, जो निर्यात के लिए प्रतिबंधित है। एमओपी को इंडियन पोटाश लिमिटेड (आईपीएल) द्वारा आयात किया जाता है और फिर किसानों के बीच रियायती दरों पर वितरित किया जाता है।
आरोप है कि अग्रसेन गहलोत IPL के अधिकृत डीलर रहे हैं और 2007-09 के बीच उनकी कंपनी ने एमओपी को रियायती दरों पर खरीदा और किसानों को बांटने के बजाय कुछ दूसरी कंपनियों को बेच दिया। उन्होंने इसे मलेशिया और सिंगापुर को औद्योगिक नमक(इंडस्ट्रियल सॉल्ट) के रूप में निर्यात किया।