बलरामपुर के किसान के बेटे और बाल वैज्ञानिक आशुतोष पाठक ‘प्रोजेक्ट कर्ण’ के टीम लीडर बनाए गए हैं। वह ब्यूटी क्वीन, रिसर्चर व वैज्ञानिक तेजस्विनी सिंह की शोधकर्ताओं और वैज्ञानिक मस्तिष्क की पैन इंडिया टीम ‘प्रोजेक्ट कर्ण’ का हिस्सा हैं। इस टीम में ‘कर्ण’ जैसे सेल्फ ट्रेनर्स शामिल हैं, जिन्हें शोध के लिए उचित सुविधा नहीं मिल रही है। गाँवों के वैज्ञानिक सोच रखने वाले होनहार युवाओं के सशक्तिकरण के लिए ‘प्रोजेक्ट कर्ण’ की शुरुआत की गयी है।
अपनी क़ाबिलियत के दम पर बलरामपुर के आशुतोष अब इस टीम का हिस्सा होने के साथ टीम लीडर भी घोषित किए गए हैं। बाल वैज्ञानिक आशुतोष ने अपनी तैयार की सभी मशीन तेजस्विनी सिंह को दिखाई, जिसकी उपयोगिता के आधार पर आशुतोष का चयन किया गया है।
इस बारे में तेजस्विनी सिंह ने बताया कि इस प्रोजेक्ट में सेल्फ रिसर्चर्स को मौका दिया जाएगा। ऐसे लोग जो आर्थिक रूप से कमज़ोर होने के बावजूद क्रिएटिव और सेल्फ रिसर्चर हैं और किसी कारणवश उनकी बनाई मशीन या रिसर्च सरकार तक नहीं पहुँच पा रही, तो एक टीम बनाकर उनकी मदद की जाएगी। तेजस्विनी का प्रयास है कि ऐसे काबिल युवाओं की मशीन या रिसर्च की बात वह स्वयं प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी तक पहुंचाएं।
तेजस्विनी का मानना है कि एक देश की ग्रोथ के लिए यह जरूरी नहीं कि सिर्फ बड़ी रिसर्च को तवज्जो दी जाए। कुछ ऐसी रिसर्च भी होती हैं, जो बड़े लेवल पर लोगों की जानकारी से तो दूर रहती हैं। ऐसी ही सोच और रिसर्च को प्रमोट करने के लिए तेजस्विनी जल्द ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात करेंगी।
कौन हैं तेजस्विनी
प्रोजेक्ट ‘कर्ण’ की संस्थापक तेजस्विनी सिंह आर्गेनिक ग्रीन्स, बोटैनिकल नैचुरोपैथी की संस्थापक, वरिष्ठ लेखक, पत्रकार, दो अंतर्राष्ट्रीय सौंदर्य प्रतियोगिता की विजेता, (मिसेज़ इंडिया इंटरनेशनल सिंगापुर -2018, मिसेज़ ग्लोबल वर्ल्ड साउथ अफ्रीका -2018), ट्रैवल राइटर और सेल्फ रिसर्चर हैं।