नई दिल्ली, राजसत्ता एक्सप्रेस। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 20 लाख करोड़ के आर्थिक पैकेज के ऐलान के बाद वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण लगातार प्रेस कॉन्फ्रेंस कर किश्तों में इस आर्थिक पैकेज का ब्रेकअप पेश किया। आज वित्त मंत्री ने आत्मनिर्भर भारत अभियान पैकेज की पांचवीं और आखिरी किस्त की घोषणाएं कीं। प्रेस कॉन्फ्रेंस की शुरुआत में वित्त मंत्री ने कहा कि हमने पिछले चार दिनों में लैंड, लेबर, लिक्विडिटी और लॉ के लिए कई घोषणाएं कीं। उन्होंने याद दिलाते हुए कहा कि पीएम ने कहा था कि जान है तो जहान है। देश संकट के दौर से गुजर रहा है। पीएम ने यह भी कहा था कि आपदा को अवसर में बदलने की जरूरत है, संकट का दौर नए अवसर भी खोलता है। निर्मला सीतारमण ने बताया कि सरकार गरीबों को तुरंत आर्थिक मदद पहुंचा रही है, खाना पहुंचा रही है। उन्होंने कहा कि आज रिफॉर्म्स पर फोकस रहेगा और 7 ऐलान किए जाएंगे। ये मनरेगा, स्वास्थ्य, शिक्षा, कारोबार, कंपनीज एक्ट, ईज ऑफ डूइंग बिजनेस और पीएसयू से जुड़े होंगे।
राहत पैकेज के पांचवे और आखिरी ब्रेकअप की मुख्य बातें और घोषणाएं..
शिक्षा
-ऑनलाइन ऐजुकेशन के लिए मल्टी मोड पीएम ई-विद्या प्रोग्राम जल्द लॉन्च किया जाएगा
-30 मई तक 100 टॉप यूनिवर्सिटी को ऑनलाइन कोर्स चलाने की मंजूरी दी जाएगी।
-सभी राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों में ई-कंटेंट और क्यूआर कोडेड पाठ्यक्रम उपलब्ध कराया जाएगा।
-प्रत्येक कक्षा के लिए अलग चैनल होगा। यह स्कीम कक्षा 1 से 12 के लिए होगी।
-सामुदायिक रेडियो और पॉडकास्ट का इस्तेमाल किया जाएगा।
-नेत्रहीन और मंदबुद्दि दिव्यांगों के स्पेशल कंटेंट तैयार किया जाएगा।
-मनोदर्पण कार्यक्रम फिर से चलाया जाएगा।
-टीचर-स्टूडेंट्स के बीच लाइव सेशन किए जा रहे हैं। प्राइवेट डीटीएच प्रोवाइडर भी एजुकेशनल कंटेंट उपलब्ध करवा रहे हैं।
मनरेगा
-40 हजार करोड़ रुपए का अतिरिक्त आवंटन
-इससे 300 करोड़ दिन का श्रम पैदा होगा
-प्रवासी मजदूरों को मॉनसून में ज्यादा रोजगार उपलब्ध होगा
हेल्थ
-ग्रामीण और शहरी क्षेत्र में सार्वजनिक खर्च को बढ़ाया जाएगा।
-हेल्थ और वेलनैस सेंटर को बढ़ावा दिया जाएगा।
-जिला स्तर के सभी अस्पतालों में इनफेसियस डिसीज का अलग ब्लॉक बनाया जाएगा।
-रिसर्च को बढ़ावा देने के लिए नेशनल प्लेटफॉर्म
कंपनियों को राहत
-कंपनीज एक्ट में कंपनियों के लिए कुछ आपराधिक मामलों को गैरआपराधिक बनाया गया है। कंपनी ऐक्ट में बदलाव किए गए। CSR, बोर्ड रिपोर्ट की कमी, फाइलिंग में चूक को अपराध की सूचि से हटाया गया।
-इंटरनल एडजूडिकेशन मैकेनिज्म में बदलाव किया गया है। अब पहले के 18 के मुकाबले 58 सेक्शन को इंटरनल एडजूडिकेशन मैकेनिज्म में शामिल किया गया है।
-7 आपराधिक मामलों को पूरी तरह से खत्म कर दिया गया है। 5 को इंटरनल एडजूडिकेशन मैकेनिज्म में भेजा गया है।
पब्लिक सेक्टर कंपनियों के लिए ये हुए ऐलान
-आत्मनिर्भर भारत के लिए पब्लिक सेक्टर एंटरप्राइजेज के लिए नई नीति लाई जाएगी।
-सार्वजनिक हित के लिए पब्लिक सेक्टर एंटरप्राइजेज की नई रणनीतिक सेंटर लिस्ट जारी की जाएगी।
-एक सेंटर में एक पब्लिक एंटरप्राइजेज कंपनी होगी। इसमें प्राइवेट कंपनी भी शामिल हो सकेंगी।
-लिस्ट से अलग सेक्टर की कंपनियों का निजीकरण या विलय किया जाएगा।
-रणनीतिक सेंटर में कम से कम एक पब्लिक सेक्टर की कंपनी होगी। अन्य प्राइवेट सेक्टर की कंपनियां भी इसमें शामिल हो सकेंगी।
-इससे प्रशासनिक और अन्य खर्च कम होंगे।
ईज ऑफ डूइंग बिजनेस
-MSME पर दिवालियापन के तहत कार्रवाई न हो ऐसे में सीमा एक लाख से एक करोड़ की गई। कोरोना वायरस की वजह से कर्ज में आईं कपंनी को डिफॉल्ट नहीं माना जाएगा।
-सेक्शन 240ए के तहत एमएसएमई के लिए अलग से दिवालिया प्रक्रिया की जाएगी। इसके लिए जल्द नोटिफिकेशन जारी होगा।
-कोविड-19 को देखते हुए नए दिवालिया मामलों को 1 साल के लिए स्थगति कर दी है।
-कोविड-19 से संबंधित डिफॉल्ट के लिए नई परिभाषा तय की गई है।