शनिवार को कुरुक्षेत्र में आयोजित एक चुनावी सभा में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कांग्रेस पार्टी पर तीखा हमला किया। उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस पार्टी आरक्षण के खिलाफ है और इसका परिवार दलितों, ओबीसी और आदिवासियों के खिलाफ है। मोदी ने कहा कि कांग्रेस की सरकार आई तो आरक्षण को खत्म कर दिया जाएगा, जो बाबा साहब अंबेडकर और दलितों के प्रति इस परिवार की नफरत को दर्शाता है।
नेहरू से लेकर राजीव गांधी तक का आरक्षण विरोध
प्रधानमंत्री मोदी ने अपने भाषण में पंडित नेहरू, इंदिरा गांधी और राजीव गांधी का भी उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि नेहरू ने जब प्रधानमंत्री के रूप में कार्य किया, तो आरक्षण का विरोध किया और सरकारी नौकरियों की गुणवत्ता के बारे में चिंता व्यक्त की। इंदिरा गांधी ने भी ओबीसी आरक्षण पर रोक लगाई थी, जबकि राजीव गांधी ने नेता प्रतिपक्ष के रूप में आरक्षण का विरोध किया और आरक्षण पाने वालों को अपमानित किया।
भाजपा का दावा – आरक्षण की रक्षा
मोदी ने स्पष्ट किया कि भाजपा सरकार हमेशा बाबा साहब अंबेडकर द्वारा दिए गए आरक्षण की रक्षा करेगी। उन्होंने कांग्रेस को चेतावनी दी कि जब तक मोदी हैं, तब तक आरक्षण की कोई भी कमी नहीं होने दी जाएगी।
हरियाणा में तीसरी बार भाजपा की सरकार
प्रधानमंत्री मोदी ने विश्वास व्यक्त किया कि हरियाणा में भाजपा की सरकार तीसरी बार बनेगी। उन्होंने कहा कि गीता की धरती पर आकर उन्हें खुशी हो रही है और हरियाणा की जनता की उत्साही प्रतिक्रिया से उनका आत्मविश्वास बढ़ा है। मोदी ने हरियाणा के मुख्यमंत्री की मेहनत और लगन की भी सराहना की और मुख्यमंत्री की सादगी की तारीफ की।
कांग्रेस पर झूठे वादों का आरोप
मोदी ने कांग्रेस पर झूठे वादे करने और किसानों को धोखा देने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि कर्नाटक में कांग्रेस ने किसानों की मदद नहीं की, जबकि भाजपा ने 15 लाख करोड़ रुपये के विकास कार्य शुरू किए हैं और 3 करोड़ गरीब परिवारों के लिए पक्के घर स्वीकृत किए हैं। मोदी ने कांग्रेस की राजनीति को झूठे वादों और देश में अराजकता फैलाने का हथकंडा बताया।
पूर्व सैनिकों और धारा 370 पर कांग्रेस की नीतियों की आलोचना
प्रधानमंत्री ने कांग्रेस की पूर्व सैनिकों और धारा 370 पर नीतियों की भी आलोचना की। उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने पूर्व सैनिकों के साथ धोखा किया, जबकि भाजपा ने वन रैंक, वन पेंशन लागू किया। इसके अलावा, मोदी ने चेतावनी दी कि कांग्रेस धारा 370 को समर्थन देकर आतंक और अलगाव का कालखंड वापस लाना चाहती है, जो हरियाणा की माताओं के लिए संकट पैदा कर सकता है।