केरल में भारी बारिश का कहर लगातार बढ़ता जा रहा है जिससे लोगों का जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया है. बाढ़ आने के कारण फसलें बर्बाद हो गई हैं और कुल संपतियों सहित अबतक करीब 8 हजार करोड़ से ज्यादा का नुकसान हो गया है. केरल के 13 जिलों में मौसम विभाग ने फिरसे अलर्ट जारी कर दिया है. इस भयाभय बाढ़ की चपेट में आने से अबतक 167 लोगों की मौत हो गई है. सीएम पी. विजय ने इस बात की आधिकारिक जानकारी दी है.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शनिवार को केरल के बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों का हवाई सर्वेक्षण करेंगे. इस बात का जानकारी शुक्रवार को केंद्रीय मंत्री के जे अल्फोंस ने दी है. उन्होंने जानकारी देते हुए बताया कि, पीएम मोदी पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के अंतिम संस्कार समारोह में शामिल होने के बाद शनिवार को कोच्चि के लिए रवाना हो सकते हैं.
आपको बता दें, बाढ़ के खतरे को बढ़ता देखते हुए गुरुवार को कराडोग को छोड़कर केरल के सभी स्कूलों को बंद करने का आदेश दिया गया था और कॉलेजों की परीक्षाओं को भी स्थगित कर दिया गया था. केरल में बाढ़ पीड़ितों के बचाव अभियान में एनजीओ भी सेना, वायुसेना, नौसेना, तटरक्षक और एनडीआरएफ की 52 टीमों के साथ शामिल हो गए हैं
केरल में प्रतिकूल मौसम को लेकर बुधवार शाम से रेड अलर्ट जारी है. यहां बुधवार को कुल 28 लोगों की मौत की खबर थी. वहीं, गुरुवार को भी मल्लापुरम, कोझिकोड, पलक्कड़ और त्रिशूरें में लोगों के मरने की खबर है. बीते 24 घंटों में मध्य केरल का पत्तनमतिट्टा जिला सर्वाधिक प्रभावित रहा. यहां छात्रों सहित हजारों की संख्या में लोग रानी, अरनमुला और कोझेनचेरी में अपने घरों में फंसे हैं. कोल्लम से नौका बाढ़ प्रभावित इलाकों में पहुंची है और रक्षाकर्मियों की सहायता से बचाव अभियान जारी है.
उड़ानों पर भी पड़ा असर
केरल में लगातार बारिश की वजह से पेरिया नदी पर बने फाटक को खोल दिया गया है जिससे अंतर्राष्टीय हवाई अड्डे में पानी घुस गया है. पानी अधिक होने के कारण हवाई अड्डे प्रशासन ने शनिवार को वहां से सभी उड़ानों का परिचालन रद्द कर दिया है. और सभी आने-जाने वाले उड़ानों को तिरुवनंतपुरम और कालीकट के लिए स्थानांतरित कर दिया है.
नागर विमान मंत्रालय ने उड़ानों को मुम्बई या अन्य स्थानों पर भेजने के बजाय केरल के अन्य हवाई अड्डों का इस्तेमाल करने के राज्य के अनुरोध को स्वीकार कर लिया है. नागर विमानन मंत्री सुरेश प्रभु ने ट्वीट के किया, ‘‘हमने सभी घरेलू और विदेशी एयरलाइनों से कोचिन की अपनी उड़ानों के लिए त्रिवेंद्रम या कालीकट से समय सारणी तय करने को कहा है.