इतने जघन्य अपराध के बावजूद क्यों नहीं मिला संजय रॉय को फांसी? कोर्ट ने सुनाई उम्रभर की सजा

कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल में एक महिला ट्रेनी डॉक्टर के साथ हुए घिनौने अपराध पर कोर्ट ने शनिवार, 20 जनवरी 2025 को फैसला सुनाया। आरोपी संजय रॉय को सियालदह कोर्ट ने उम्रभर की सजा सुनाई है, साथ ही उस पर 50 हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया गया।
इस मामले ने पूरे देश में गुस्से की लहर दौड़ा दी थी और डॉक्टरों ने बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन किया था। लेकिन यह सवाल उठता है कि इतने जघन्य अपराध के बाद भी आरोपी संजय रॉय को फांसी क्यों नहीं दी गई। अदालत ने इसे ‘रेयरेस्ट ऑफ रेयर’ (बहुत ही दुर्लभ) मामला नहीं माना, और संजय को मौत की सजा नहीं दी।
कोर्ट में वकीलों की दलीलें
सीबीआई के वकील ने मामले की गंभीरता को सामने रखते हुए कहा कि यह बहुत ही वीभत्स अपराध है और इसे ‘रेयरेस्ट ऑफ रेयर’ श्रेणी में रखा जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि समाज में विश्वास बनाए रखने के लिए आरोपी को कड़ी से कड़ी सजा दी जानी चाहिए। वहीं, संजय रॉय के वकील ने दलील दी कि अभियोजन पक्ष ठोस साक्ष्य पेश करे ताकि यह साबित हो सके कि संजय रॉय के सुधार की कोई संभावना नहीं है। उनका कहना था कि वे फांसी के अलावा किसी भी सजा के लिए प्रार्थना करते हैं।
संजय रॉय पर लगी धाराएं
आरोपी संजय रॉय ने आरजी कर मेडिकल कॉलेज के सेमिनार हॉल में एक महिला ट्रेनी डॉक्टर के साथ दुष्कर्म किया और फिर उसकी हत्या कर दी। अदालत ने उसे भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 64, 66 और 103(1) के तहत दोषी ठहराया। इन धाराओं के तहत अपराधी को अधिकतम मृत्युदंड (फांसी) या उम्रभर की सजा दी जा सकती है। लेकिन अदालत ने उसे उम्रभर की सजा सुनाई, और यह साफ कर दिया कि इस मामले को ‘रेयरेस्ट ऑफ रेयर’ श्रेणी में नहीं रखा जा सकता।
‘रेयरेस्ट ऑफ रेयर’ क्या है?
‘रेयरेस्ट ऑफ रेयर’ का मतलब है उन अपराधों के लिए जो इतना गंभीर होते हैं कि उनकी सजा मौत (फांसी) हो सकती है। जब अपराध इतना घिनौना हो कि इससे समाज को गहरी चोट पहुंचे और अपराधी के चरित्र को देखते हुए उसे मौत की सजा दी जाए, तब उस मामले को ‘रेयरेस्ट ऑफ रेयर’ माना जाता है। भारतीय दंड संहिता के तहत मृत्युदंड सिर्फ उन्हीं मामलों में दिया जा सकता है जिन्हें अदालत ‘रेयरेस्ट ऑफ रेयर’ मानती है।
सजा तय करने का तरीका क्या है?
कानूनी प्रक्रिया में सजा तय करना बहुत ही जटिल होता है। इसलिए न्यायाधीश को विवेकाधिकार मिलता है ताकि वे सजा तय कर सकें। सुप्रीम कोर्ट यह सुनिश्चित करता है कि न्यायाधीश विवेकाधिकार का सही इस्तेमाल कर रहे हैं या नहीं। अदालत हमेशा मामले की गहराई और उसके तथ्यों को देखते हुए फैसला सुनाती है, यह सिर्फ किसी की इच्छा पर निर्भर नहीं होता।
क्या संजय रॉय को फांसी मिलनी चाहिए थी?
इस मामले में अदालत ने संजय रॉय की सजा उसकी मानसिक स्थिति, शारीरिक हालत और उसकी पिछली पृष्ठभूमि को देखते हुए तय की। कोर्ट ने यह माना कि आरोपी ने जो अपराध किया वह बहुत गंभीर था, लेकिन उसकी उम्र और मानसिक स्थिति को ध्यान में रखते हुए उसे ‘रेयरेस्ट ऑफ रेयर’ श्रेणी में नहीं रखा जा सकता। संजय रॉय के खिलाफ कभी कोई गंभीर अपराध नहीं था, इसीलिए उसे मौत की सजा नहीं दी गई और अदालत ने उम्रभर की सजा सुनाई।
विरोध और प्रदर्शन कीTimeline
9 अगस्त: आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल में एक महिला डॉक्टर का शव सेमिनार हॉल की तीसरी मंजिल पर पाया गया।
10 अगस्त: पुलिस ने संजय रॉय को गिरफ्तार किया और इसके बाद राज्यभर में डॉक्टरों ने विरोध प्रदर्शन शुरू कर दिए।
12 अगस्त: मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने पुलिस को 7 दिन में मामले को हल करने का समय दिया।
13 अगस्त: कलकत्ता हाई कोर्ट ने मामले को ‘बेहद वीभत्स’ बताया और सीबीआई को जांच सौंप दी।
14 अगस्त: सीबीआई ने 25 सदस्यीय टीम बनाई और एक फोरेंसिक टीम गठित की।
15 अगस्त: डॉक्टरों के विरोध के कारण सड़कों पर हंगामा हुआ, और आईएमए ने चिकित्सा सेवाओं को बंद करने की घोषणा की।
18 अगस्त: सुप्रीम कोर्ट ने स्वतः संज्ञान लिया और 20 अगस्त को मामले की सुनवाई तय की।
7 अक्टूबर: सीबीआई ने संजय रॉय के खिलाफ बलात्कार और हत्या की चार्जशीट दाखिल की।
4 नवंबर: सियालदह कोर्ट में संजय रॉय के खिलाफ आरोप तय किए गए।
20 जनवरी: सियालदह कोर्ट ने संजय रॉय को उम्रभर की सजा सुनाई।
कोर्ट का फैसला और समाज पर असर
कोर्ट का यह फैसला जहां एक ओर न्यायिक प्रक्रिया की उपयुक्तता को दर्शाता है, वहीं दूसरी ओर यह सवाल भी खड़ा करता है कि क्या ऐसे जघन्य अपराधों में दोषी को सजा दिलाने में और कड़ा कदम नहीं उठाया जा सकता था। हालांकि अदालत ने इसे ‘रेयरेस्ट ऑफ रेयर’ मामला नहीं माना, लेकिन मामले की गंभीरता को देखकर भी समाज में इससे जुड़ी चर्चा जारी रहेगी।

Related Articles

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Stay Connected

0FansLike
0FollowersFollow
0SubscribersSubscribe

Latest Articles