पुलवामा: छुट्टी पर आए जवान को आतंकियों ने घर में घुसकर मारी गोली, शहीद

आतंकियों की तलाश के लिए पूरे इलाके को खाली करा लिया गया है.

श्रीनगर: जम्मू कश्मीर के पुलवामा जिले में आतंकवादियों ने सीआरपीएफ के जवान की उनके घर में घुस कर रविवार को गोली मारकर हत्या कर दी. पुलिस के एक अधिकारी ने बताया कि नसीर अहमद राथर केंद्रीय रिजर्व पुलिस पुलिस बल (सीआरपीएफ) के स्थानीय कांस्टेबल थे. दक्षिण कश्मीर के पुलवामा के नैरा इलाके में अज्ञात आतंकी उनके घर में घुसे और उन्हें गोली मार दी. हमले के बाद उन्हें अस्पताल ले जाया गया लेकिन बचाया नहीं जा सका.

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नसीर अहमद के हमलावरों को लेकर अभी तक कोई जानकारी सामने नहीं आई है. आतंकियों की तलाश के लिए पूरे इलाके को खाली करा लिया गया है. सेना के एक अधिकारी ने बताया कि इलाके की घेराबंदी कर ली गई है और हमलावरों की तलाश जारी है.

CRPF constable Naseer Ahmad Rather
आतंकवादियों ने सीआरपीएफ के जवान नसीर अहमद राथर की उनके घर में घुस कर रविवार को गोली मारकर हत्या कर दी

छुट्टी पर अपने घर आए थे नसीर

एसएसपी पुलवामा मो. असलम चौधरी ने बताया कि जवान नसीर छुट्टी पर अपने घर पुलवामा में था. रविवार शाम को आतंकियों ने उसके घर पर हमला कर उसे घायल कर दिया. घटना के तुरंत बाद स्थानीय लोगों ने उसे पुलवामा के जिला अस्पताल में भर्ती कराया जहां इलाज के दौरान नसीर ने दम तोड़ दिया.

45 दिनों में पांचवीं वारदात

ईद के बाद लगभग 45 दिनों के अंदर आतंकियों द्वारा सैनिकों व पुलिसकर्मियों की अपहरण और हत्या की यह पांचवीं घटना है. इससे 21 जुलाई को आतंकियों ने पुलिस कांस्टेबल सलीम शाह की अपहरण कर हत्या कर दी थी. ईद पर घर आ रहे पुंछ निवासी सेना के जवान औरंगजेब की आतंकियों ने अपहरण के बाद 14 जून को हत्या कर दी थी.

पांच जुलाई को दक्षिणी कश्मीर के शोपियां जिले में पुलिसकर्मी जावेद अहमद डार की भी अगवा करने के बाद हत्या कर दी गई थी. गत शुक्रवार की देर रात अपहृत पीएसओ को परिवारवालों की अपील पर 24 घंटे में शनिवार देर रात रिहा कर दिया था. शुक्रवार को आतंकियों ने दक्षिणी कश्मीर के पुलवामा जिले के त्राल इलाके से एसपीओ मुदासिर अहमद लोन को अगवा कर लिया था. परिवार वालों की अपील का वीडियो वायरल होने के बाद आतंकियों ने 24 घंटे के भीतर शनिवार की देर रात उसे रिहा कर दिया. साथ ही वीडियो वायरल कर आतंकियों ने धमकी दी कि यदि शुक्रवार तक सभी एसपीओ ने नौकरी नहीं छोड़ी तो उन्हें छोड़ा नहीं जाएगा.

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आतंकियों ने औरंगजेब को भी निशाना बनाया था.

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ईद की छुट्टियां मनाने घर जा रहे औरंगजेब को भी रास्ते से अगवा कर बुरी तरह टार्चर किया गया, वीडियो कैमरे पर उसका कबूलनामा बनाया गया था. 44 राष्ट्रीय रायफल का जवान औरंगजेब सेना की उस टीम का हिस्सा थे, जिसने हिजबुल के कमांडर समीर टाइगर को ढेर कर दिया था. यही नहीं, जैश-ए- मोहम्मद के सरगना मौलाना मसूद अजहर के भतीजे महमूद भाई को जिस सेना की टीम ने मारा था, औरंगजेब उस टीम का भी हिस्सा रहे थे. इसी का बदला लेने के लिए आतंकियों ने औरंगजेब को निशाना बनाया था.

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