… तो इसलिए मायावती ने मध्य प्रदेश में नहीं किया कांग्रेस से गठबंधन

भोपाल: बीएसपी प्रमुख मायावती ने मध्य प्रदेश में कांग्रेस को जोर का झटका दिया है. मायावती ने विधानसभा चुनाव से ठीक पहले कांग्रेस से कोई रिश्ता ना रखने का एलान कर दिया है. जानकारों के मुताबिक कांग्रेस से समझौता ना करने के पीछे मायावती की एक खास योजना है. मायावती इसी योजना पर आगे बढ़ कर मध्य प्रदेश में अपनी ताकत बढ़ाना चाहती हैं.

क्या है मायावती की रणनीति?

मध्य प्रदेश में ग्वालियर और चंबल क्षेत्र में बसपा की मजबूत पकड़ है. पिछले चुनाव में बीएसपी ने दो सीटें जीती थीं. इस बार वो लगभग एक दर्जन सीटों पर मजबूत उपस्थिति दर्ज करा रही है. बीएसपी की बढ़ती ताकत के पीछे जो वजहें गिनाई जा रही हैं उनमें सपाक्स, दलित आंदोलन और बीजेपी के खिलाफ सत्ता विरोधी लहर शामिल है. बीएसपी की नजर कांग्रेस और बीजेपी के बागियों पर भी है. बीएसपी ने पहले दौर में केवल उन सीटों पर ही उम्मीदवार घोषित किए हैं जहां उसका संगठन मजबूत है. अन्य सीटों पर बीजेपी और कांग्रेस के दमदार बागी नेताओं को अपने पाले में करने की तैयारी है.

ये भी पढ़ें- यूपी में महागठबंधन मुश्किल, अखिलेश को माया दे रही हैं बस इतनी सी सीटें

मायावती की बागियों पर नजर

ब्राह्मण-ठाकुर, वैश्य मतदाताओं को ध्यान में रखकर बीएसपी ऐसे चेहरे तलाश रही है जो उसके मूल वोट बैंक के साथ चुनाव को अपने पक्ष में करने की क्षमता रखते हैं. ग्वालियर ग्रामीण में गुर्जर, पोहरी में कुशवाह, श्योपुर में मीणा (रावत) बिरादरी के नेता, कोलारस में यादव, दिमनी में क्षत्रिय समाज का बाहुल्य है. राजनीतिक जानकारों की मानें तो यहां बागियों को टिकट दिए तो बसपा को एक-दो सीटें ज्यादा मिल सकती हैं. जिन सीटों पर पिछले चुनाव में बीएसपी दूसरे नंबर पर थी, वहां जातिगत समीकरण के मुताबिक प्रत्याशियों की तलाश की जा रही है. पार्टी के कोर वोट बैंक को एकजुट बनाए रखने के लिए मायावती की जनसभाएं भी कराने की तैयारी है.

ये भी पढ़ें- माया ने कांग्रेस पर लगाए आरोप, लेकिन असल में खोल लिए अखिलेश की “साइकिल” के पहिए !

2013 का चुनावी प्रदर्शन

2013 के विधानसभा चुनाव में बीएसपी ने अंबाह (आरक्षित) और दिमनी सीटों पर जीत दर्ज की थी. श्योपुर, सुमावली, मुरैना और भिंड में पार्टी दूसरे नंबर पर रही. इन सीटों पर बीजेपी के प्रत्याशी जीते और कांग्रेस तीसरे स्थान पर थी. 2013 में आठ सीटों पर बीएसपी तीसरे नंबर पर रही थी.

Related Articles

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Stay Connected

0FansLike
0FollowersFollow
0SubscribersSubscribe

Latest Articles