दिवाली पर हवाई सफर 44% महंगा, होटलों के किराए भी बढ़े

दिवाली पर हवाई सफर 44% महंगा, होटलों के किराए भी बढ़े

देश में त्योहारों की शुरुआत के साथ लोगों के लिए सैर-सपाटा महंगा हो गया है। हवाई किराए और होटलों के किराए में भारी बढ़ोतरी हुई है। दिवाली पर 10 से 16 नवंबर के बीच देश के प्रमुख स्थानों के लिए हवाई किराया पिछली दिवाली के मुकाबले 44 फीसदी तक महंगा हो गया है। मुंबई-दिल्ली मार्ग के बीच दिवाली वाले हफ्ते में एक तरफ का किराया 8,788 रुपए है, जो पिछले साल इसी अवधि की तुलना में 27.8 फीसदी ज्यादा है। यह भी तब है, जब यात्रा से 30 से 35 दिन पहले टिकट बुक कराए जा रहे हैं।

देश में सैलानियों के लिए सबसे पसंदीदा स्थलों में नई दिल्ली, मुंबई, गोवा, जयपुर और वाराणसी हैं। विशेषज्ञों का कहना है कि हवाई किराया बढ़ने के बावजूद सैलानी अपने पसंदीदा ठिकानों के लिए उड़ान भरने में हिचक नहीं रहे हैं। छुट्टियों में देश-विदेश की सैर पर जाने वालों की तरफ से भी मजबूत मांग है। त्योहारों पर दोस्तों और रिश्तेदारों के यहां जाने का चलन भी बढ़ा है।
यात्रियों की संख्या को देखते हुए कोच्चि, तिरुपति, हैदराबाद, नई दिल्ली और मैसूरु जैसे शहरों में होटल बुकिंग काफी बढ़ी है। बताया जाता है कि इन शहरों में होटल के कमरों के औसत किराए में 15 फीसदी की बढ़ोतरी हुई है। दीवाली को देखते हुए होटलों की मांग और बढऩे का अनुमान है। बुकिंग डॉट कॉम के सर्च डेटा के अनुसार भारतीय यात्री त्योहारों के दौरान परिवार और दोस्तों के साथ छोटी दूरी के विदेशी ठिकानों जैसे दुबई, सिंगापुर और बैंकॉक आदि जाने के लिए सर्च कर रहे हैं।
ऐसे बढ़ा औसत हवाई किराया (रुपए में)

मार्ग 10-16 नवंबर, 23 21-27 अक्टूबर, 22 वृद्धि
पुणे-दिल्ली 10,600 7,339 44.4%
बेंगलूरु-कोलकाता 10,195 7,253 40.6%
चेन्नई-कोलकाता 8,725 6,815 28%
मुंबई-दिल्ली 8,788 6,876 27.8%
दिल्ली-कोलकाता 7,697 6,441 19.5%
दिल्ली-हैदराबाद 6,429 5,750 11.8%
(किराया 30 से 35 दिन पहले टिकट बुकिंग पर)

सलाहकार फर्म डेलाइट इंडिया के मुताबिक चालू वित्त वर्ष में भारत की आर्थिक वृद्धि दर 6.5-6.8 प्रतिशत के दायरे में रह सकती है। त्योहारी मौसम में खर्च बढ़ने और अगले साल आम चुनावों के पहले सरकारी खर्च बढ़ने से आर्थिक वृद्धि दर को समर्थन मिलेगा। डेलाइट ने भारत आर्थिक परिद्दश्य रिपोर्ट में कहा कि भारत को 2027 तक दुनिया की तीसरी बड़ी अर्थव्यवस्था बनने के लिए हर वित्त वर्ष में कम से कम 6.5 प्रतिशत की वृद्धि की जरूरत होगी।
Previous articleजातिगत जनगणना पर बोले राहुल गांधी – ये देश के एक्स-रे जैसा, पता चलेगा किसके पास कितना पैसा
Next articleफूड स्टॉल पर राहुल गांधी ने बनाया डोसा, सड़क किनारे बैठ लोगों के साथ खाया