जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में 22 अप्रैल 2025 को हुए आतंकी हमले में त्राल का रहने वाला आसिफ शेख भी शामिल था। लश्कर-ए-तैयबा और उसकी प्रॉक्सी द रेजिस्टेंस फ्रंट (TRF) से जुड़े इस आतंकी का घर सुरक्षाबलों ने बम से उड़ा दिया है। अब एक आतंकी डायरी में मिली उसकी तस्वीर ने उसकी जिंदगी के काफ़ी राज खोले हैं। आसिफ की कहानी उन युवाओं की है, जो आतंक के रास्ते पर चलकर खुद समेत पूरे परिवार को बर्बाद कर देते हैं।
बुरहान वानी से क्या है कनेक्शन?
दरअसल आसिफ शेख का घर त्राल में उसी इलाके में है, जहां हिजबुल कमांडर बुरहान वानी रहता था। 2024 में एक एनकाउंटर में मारे गए आतंकी की डायरी से आसिफ की हथियारों के साथ तस्वीर मिली, जिसने उसकी गतिविधियों को उजागर किया। खुफिया सूत्रों के मुताबिक, आसिफ ने 2017-18 में PoK के आतंकी कैंप में ट्रेनिंग ली। परिवार ने स्वीकार किया कि वह तीन साल से घर नहीं लौटा, लेकिन चुपके-चुपके आतंकी गतिविधियों में सक्रिय था। पहलगाम हमले में उसकी भूमिका ने उसे जांच के केंद्र में ला दिया।
पहलगाम हमले में आसिफ़ की भूमिका
सैन्य सूत्रों के अनुसार, हमले में चार आतंकी शामिल थे, जिनमें दो स्थानीय—आसिफ शेख (त्राल) और आदिल हुसैन थोकर (बिजबेहरा)—थे। आसिफ ने हमलावरों को रास्ता दिखाया और लॉजिस्टिक्स मुहैया कराया। हमले में AK-47 और स्टील टिप गोलियों का इस्तेमाल हुआ, और आतंकियों ने हिंदू पर्यटकों को चुन-चुनकर निशाना बनाया। TRF ने जिम्मेदारी ली, लेकिन सूत्रों ने पुष्टि की कि यह लश्कर-ए-तैयबा का मुखौटा है, जिसे ISI समर्थन देती है। चश्मदीदों ने बताया कि कुछ आतंकी पश्तून बोल रहे थे, जो पाकिस्तानी आतंकियों की मौजूदगी दिखाता है।
आसिफ ने PoK से लिया था प्रशिक्षण
आसिफ ने 2017-18 में PoK में लश्कर के कैंप में ट्रेनिंग ली, जहां उसे टारगेट किलिंग और घुसपैठ की तकनीक सिखाई गई। सह-आरोपी आदिल थोकर ने 2018 में अटारी-वाघा बॉर्डर के जरिए पाकिस्तान जाकर आतंकी ट्रेनिंग ली और 2024 में लौटा। खुफिया एजेंसियों का मानना है कि दोनों को लश्कर कमांडर सैफुल्लाह खालिद कसूरी ने निर्देश दिए, जो पाकिस्तान में वीवीआईपी जैसी जिंदगी जीता है। यह हमला ISI की साजिश का हिस्सा था, जिसका मकसद कश्मीर में अशांति फैलाना था।
सुरक्षाबलों ने आतंक पर बड़ी कार्रवाई करते हुए उड़ाया घर
पहलगाम हमले के बाद सुरक्षाबलों ने त्वरित कार्रवाई की। 25 अप्रैल को त्राल में आसिफ शेख के घर को विस्फोट से उड़ा दिया गया, जिसमें विस्फोटक छिपे होने की आशंका थी। बिजबेहरा में आदिल थोकर का घर भी बुलडोजर से ढहाया गया।
X पर पोस्ट्स के मुताबिक, यह कार्रवाई आतंकी नेटवर्क को तोड़ने का हिस्सा थी। भारत ने PoK में 42 टेरर लॉन्च पैड्स की पहचान की और सर्जिकल स्ट्राइक की संभावना जताई जा रही है। यह आतंकियों और उनके समर्थकों के लिए सख्त संदेश है।
आतंक का रास्ता बना बर्बादी का ठिकाना
आसिफ शेख की कहानी कश्मीर के उन युवाओं की त्रासदी है, जो ISI और लश्कर के बहकावे में आकर आतंक की राह चुनते हैं। PoK की ट्रेनिंग और आतंकी डायरी ने उसके अपराधों को उजागर किया, और सुरक्षाबलों की कार्रवाई ने उसके घर को मिट्टी में मिला दिया। भारत का रुख साफ है कि आतंकियों और उनके आकाओं को बख्शा नहीं जाएगा।