पीएम नरेंद्र मोदी ने बुधवार को झारखण्ड की जनसभा की। उन्होंने कहा, ‘मैं कल रात पश्चिम बंगाल से रांची आया था। कल रात रांची ने जिस प्रकार का आदर सत्कार किया, वो प्यार, उत्साह, उमंग और जोश अपने आप में देखते ही बनता था। मैं रांची और झारखंड के नागरिकों का इस मान सम्मान के लिए आभार व्यक्त करता हूं। कल ऐसा शानदार, जानदार दृश्य था, जो देखते ही बनता था, राजभवन तक एक इंच ऐसी जगह नहीं थी कि जहां पूरा रांची शहर खड़ा होकर आशीर्वाद न देता हो।
पीएम नरेंद्र मोदी का विपक्ष पर हमला
उन्होंने कहा कि एक सरकार को दोबारा सरकार बनाने के लिए जनता का मिजाज क्या होता है, यह झारखंड वालों ने कल दिखा दिया। आपकी इस ललकार ने दिल्ली की कुर्सी पर नजर गड़ाएं भ्रष्टाचारियों और महामिलावटियों में हड़कंप मचा दिया है।
उन्होंने कहा कि तीन चरण के मतदान के बाद, 300 सीटों पर वोट पड़ने के बाद अब विरोधियों के लिए खुले रूप से पराजय स्वीकार करने के सिवाय कोई चारा नहीं बचा है। विरोधियों ने भी मान लिया है कि फिर एक बार मोदी सरकार बनेगी।
तीसरा चरण समाप्त होते होते इन लोगों ने अपनी तोप का मुंह मोड़ दिया है, अब तक जितनी गालियां वो मोदी को देते थे, अब वो गालियां EVM को देने लगे हैं। अपनी हार का ठीकरा EVM पर फोड़ने की शुरुआत इन्होंने पहले से ही कर दी है।
पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा कि EVM पर विपक्षियों का ये रोना हो रहा है, क्योंकि लोग इन महामिलावटियों को वोट देकर अपना वोट बेकार नहीं जाने दे रहे हैं। लोग वोट कर रहे हैं देश के विकास के लिए, देश को मजबूत बनाने के लिए, उन चुनौतियों को दूर करने के लिए जो कांग्रेस ने अपने इतने वर्षों के शासन में पैदा की हैं।
दिल्ली में आपने मजबूत सरकार बनाई, तभी आज नक्सलवाद-माओवाद पर हम इतना काबू पा सके हैं। भाजपा-एनडीए सरकार के प्रयासों का ही परिणाम है कि देश में नक्सल प्रभावित जिलों की संख्या में बहुत कमी आई है।
पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा कि पाकिस्तान आतंकी भेजता था, आतंकी यहां पर हमले करते थे और जो कांग्रेस की सरकार थी, वो रोना शुरू कर देती थी। रोते हुए, डर-डरकर आतंकवाद का मुकाबला हो सकता है क्या? पाकिस्तान को उसी की भाषा में जवाब, आपके इस चौकीदार की सरकार ने दिया। हमने घर में घुसकर आतंकियों को मारा, आतंक के सरपरस्तों को खत्म किया। आज हर आतंकी के मन में ये डर है कि अगर उसने कोई गलती की, तो ये मोदी है-उसे पाताल में भी खोजकर ठिकाने लगा देगा।
कोई भी भारतीय, चाहे वह कहीं भी संकट में हो, मुश्किल में हो, हमारे लिए सिर्फ भारतीय है। हर भारतीय की सेवा हमारा कर्तव्य है, बिना पंथ देखे, बिना भेदभाव किए उसकी मुश्किलें कम करना, उसका जीवन आसान बनाना ही हमारी प्राथमिकता है। अफगानिस्तान में फादर प्रेम को आतंकियों ने पकड़ लिया। उसी प्रकार से फादर टॉम को भी IS के आतंकियों ने पकड़ लिया था। यहां के सारे चर्च से लोग मेरे पास आते थे कि इन्हें बचाइए। आपका ये चौकीदार बारी-बारी से उन्हें छुड़ाकर लाया और उनके परिवार के सुपुर्द कर दिया।
पीएम ने कहा कि कांग्रेस और उसके महामिलावटी साथी पाकिस्तान को सबक सिखाने वाले हमारे वीरों पर ही सवाल उठा रहे हैं। वो कह रहे हैं कि सबूत लाओ, तब हम मानेंगे कि पाकिस्तान में आतंकियों पर हमला हुआ। वो हमारे देश के वीर जवानों की नीयत पर और उनके पराक्रम पर शक कर रहे हैं।
कर्नाटक में कांग्रेस ने जिसे मुख्यमंत्री बनाया है, उनका कहना है कि फौज में तो वही नौजवान जाते हैं, जिन्हें दो वक्त की रोटी नसीब नहीं होती, जिन्हें अपने पेट की भूख मिटानी होती है! डूब मरो, डूब मरो ऐसी सोच रखने वालों डूब मरो।
क्या पुलवामा में शहीद हुए झारखंड के वीर सपूत विजय सोरेन इसलिए अपना परिवार छोड़कर गए थे कि उन्हें दो वक़्त का खाना नहीं मिलता था। क्या भाषा बोलते हो? क्यों शहीदों का अपमान करते हो? कांग्रेस, देश की सेवा के लिए सरकार नहीं चलाना चाहती, वो सिर्फ एक परिवार के लिए सोचती है और उसी को समर्पित है। बाकी लोग उसके लिए सिर्फ एक वोटबैंक हैं।
आजादी के बाद से लेकर आजतक का इतिहास देखें तो कांग्रेस में आप इस एक परिवार के अलावा और किसी की तारीफ नहीं सुनेंगे। इस परिवार के अलावा कांग्रेस को भारत में और कोई और रत्न ही नहीं दिखता। इस एक परिवार के आगे कांग्रेस को कभी भगवान बिरसा मुंडा नहीं दिखे। इस परिवार के आगे कांग्रेस को कभी बाबा साहेब भीमराव आंबेडकर नहीं दिखते। इस परिवार के आगे कांग्रेस को कभी सरदार पटेल नहीं दिखे।
मैं आपको कांग्रेस द्वारा फैलाई जा रही अफवाहों से सतर्क करना चाहता हूं। आप आश्वस्त रहिए, जब तक आपका ये चौकीदार मोदी है, तब तक आपकी जमीन, जंगल और आपके अधिकारों पर कोई पंजा नहीं मार सकता। आपके इस चौकीदार की नीयत नेक है इसलिए नीति भी साफ है। दूसरी तरफ कांग्रेस के पास सिर्फ वंशवाद है और गरीब को गरीब बनाए रखने की सोच है। इसी सोच की वजह से जहां भी कांग्रेस की सरकारें बन रही हैं, वहां आदिवासियों को मिलने वाली सहायता बंद कर रही हैं।