प्रधानमंत्री की समालोचना हो या आलोचना लेकिन इस बात के तो सभी कायल और मुरीद हैं। वह है उनकी समय उपयोगिता और उसका प्रबंधन। विपक्षी भी अब तक इसी पशोपेश में हैं कि आखिर इतना सर्वव्यापी कैसे हो जाते हैं? पहले घंटे में विदेशी प्रतिनिधि मंडल से बात कर रहे होते हैं तो ठीक दूसरे घंटे में बच्चों से उनकी परीक्षा के दबाव पर चर्चा कर रहे होते हैं।
जी,हां। आप ठीक समझे बात कर रहे भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की। समय और कार्यक्रम प्रबंधन में इतने माहिर हैं कि किस समय कब और कहां रहना और अहम बात कितना रहना ये उन्हें बेहतर पता रहती है। इसी कौतूहल को लेकर देश के एक नागरिक प्रफुल्ल पी शारदा भी आ गए। प्रफुल्ल पी शारदा ने इसी कौतूहल में सूचना अधिकार के तहत प्रधानमंत्री कार्यालय से जवाब मांग लिया कि जब से नरेंद्र मोदी प्रधानमंत्री पद पर आसीन हुए हैं वह तब से कितनी बार प्रधानमंत्री कायार्लय में कितनी बार उपस्थित रहे हैं। इसका जब जवाब आया तो असम मुख्यमंत्री हेमंत बिस्वा शर्मा गदद हो गए।
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— Himanta Biswa Sarma (@himantabiswa) September 4, 2023
इस जानकारी को असम के मुख्यमंत्री हेमंत बिस्वा शर्मा ने अपने सोशल मीडिया टिवटर एकाउंट पर भी शेयर करते हुए लिखा है। मेरा प्रधानमंत्री, मेरा गर्व। गौरतलब है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अपनी विदेशी यात्राओं को लेकर विपक्षियों के निशाने पर रहते हैं। प्रधानमंत्री मोदी 6 सितंबर को असियान सम्मेलन में भाग लेने के लिए इंडोनेशिया जाएंगे।