अतीक अहमद की मौत के बाद उसकी विधवा 51 साल की शाइस्ता परवीन इद्दत में है। एक अंग्रेजी वेबसाइट में छपी खबर के अनुसार शाइस्ता के एक रिश्तेदार ने यह दावा किया है।नाम न छापने की शर्त पर एक रिश्तेदार ने कहा, “वह अपने जीवित चार बेटों के कल्याण के बारे में अत्यधिक चिंतित है और जब वह अपने जीवन की सुरक्षा के बारे में सुनिश्चित हो जाएगी तो शायद आत्मसमर्पण कर देगी। फिलहाल वह अभी इद्दत में है।
अंग्रेजी वेबसाइट पर छापी गई रिपोर्ट में दावा किया गया है कि उसके रिश्तेदार जोर देकर कहते हैं कि शाइस्ता इस्लाम धर्म की कट्टर है और हमेशा पर्दे के पीछे रहती है। हालांकि इस समय वह ‘इद्दत’ में है। वहीं एसटीएफ के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, “तथ्य यह है कि वह अपनी तलाश कर रही दर्जनों पुलिस टीमों से बचने में सफल रही है, यह दर्शाता है कि उसे कम करके नहीं आंका जाना चाहिए।”
शाइस्ता ने रिश्तेदार ने नाम छिपाते हुए अंग्रेजी वेबसाइट को बताया “शाइस्ता के दो बेटे, उमर और अली जेल में हैं, जबकि उनके नाबालिग बेटे अहज़ान और आबान एक किशोर गृह में पुलिस हिरासत में हैं। शाइस्ता को उनकी सुरक्षा की चिंता है। इसीलिए वह अपने पति, बेटे और देवर के अंतिम संस्कार में शामिल नहीं हुई।
अप्रैल 1998 और 2003 में तब के इलाहाबाद और अब के प्रयागराज के एसपी रहे लाल जी शुक्ला बताते हैं कि “अतीक, अशरफ, दो बड़े बेटों उमर और अली के अलग-अलग मामलों में जेल जाने के बाद शाइस्ता उनका अवैध कारोबार संभालने लगी है। वह परिवार और अपने गिरोह में बहुत सम्मानित रूप से देखी जाती है। शाइस्ता एकमात्र ऐसी महिला है, जिसके पास गिरोह और अतीक की संपत्ति संभालने की क्षमता है।”
वहीं अलग-अलग मीडिया रिपोर्ट्स में किए गए दावे के अनुसार पुलिस को अतीक के चकिया स्थित किराए के मकान में कुछ कागजात मिले थे। छापेमारी के दौरान बरामद हुए कागजातों पर शाइस्ता परवीन के दस्तखत मिलना इस ओर संकेत करता है कि पति की मौत के बाद वही अतीक का कारोबार और उसके गैंग का संचालन कर रही है।