सर्वोच्च न्यायलय ने गुरुवार को कई मामलों की सुनवाई की। उत्तर प्रदेश के एक केस में राज्य के पुलिस महानिदेशक (DGP) को निर्देश दिया है कि वे प्रदेश में कैदियों को सजा में दी गई छूट के बाद कितनों को रिहाई का फायदा दिया गया, इसका जानकारी दें। डीजीपी इस बारे में निजी तौर पर सुप्रीम कोर्ट में हलफनामा दाखिल करें।
चीफ जस्टिस डी. वाई. चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली बेंच ने कई निर्देश जारी करते हुए उत्तर प्रदेश के डीजीपी से यह ब्योरा मांगा। उन्होंने कहा कि यह बताएं कि प्रदेश के हर जनपद में कितने दोषी हैं, जो वक्त से पहले रिहाई के पात्र हैं।
सुनवाई कर रही बेंच में न्यायमूर्ति पीएस नरसिम्हा भी उपस्थित थे। अदालत ने डीजीपी से पूछा कि दोषियों को सजा में रिआयत के आदेश के बाद से वक्त से पहले रिहाई के कितने मामलों पर विचार किया गया। सुप्रीम कोर्ट ने राज्य के आला- अफसरों के पास छूट के पेंडिंग मामलों का ब्योरा और इन मामलों पर कब तक विचार किया जाएगा, यह जानकारी भी मांगी है।