नई दिल्ली: झारखंड के सीएम हेमंत सोरेन को बड़ी राहत देते हुए सर्वोच्च न्यायालय ने आज अवैध खनन केस में उनके विरुद्ध झारखंड हाई कोर्ट के फैसले को चुनौती देने वाली उनके आवेदन को स्वीकार कर लिया। झारखंड उच्च न्यायालय के फैसले के विरुद्ध मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने सर्वोच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया था। सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस दिनेश माहेश्वरी और न्यायाधीश सुधांशु धुलिया की पीठ ने आज उनके आवेदन पर निर्णय सुनाया।
Supreme Court allows the appeal of Jharkhand CM Hemant Soren & the state govt against the Jharkhand High Court order which had accepted the maintainability of a Public Interest Litigation (PIL) in connection with shell companies allegedly related to Soren and his associates. pic.twitter.com/cFbDaOA4RA
— ANI (@ANI) November 7, 2022
सीएम सोरेन को 2021 में पद पर रहते हुए स्वयं को खनन पट्टा देने के लिए भारतीय जनता पार्टी की शिकायत पर एमएलए के रूप में अयोग्यता का सामना करना पड़ा। इलेक्शन कमीशन ने कथित रूप से गवर्नर रमेश बैस से गुजारिश की है कि उनके विरुद्ध एक्शन लिया जाए । लेकिन गवर्नर ने उसे लंबित रखा है। इस केस को लेकर भी मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने निर्वाचन आयोग से अनुरोध किया है और कहा कि उनके विरुद्ध गवर्नर के पास रखे लिफाफे को खोला जाए।
ED ने इससे पूर्व इसी साल के जुलाई महीने में छापेमारी और बैंक अकाउंट्स से 11.88 करोड़ रुपये की जब्ती के पश्चात मामले में उनके सहयोगी पंकज मिश्रा और दो अन्य को अरेस्ट किया था। प्रवर्तन निदेशालय ने आरोप लगाया है कि पंकज मिश्रा के घर से “बेहिसाब” कैश में ₹ 5.34 करोड़ मिले हैं। तीन महीने पूर्व जांच एजेंसी ने सोरेन के प्रेस एडवाइजर अभिषेक प्रसाद से भी पूछताछ की थी।