नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट की पांच जजों की संविधान पीठ ने बुधवार को कहा कि मुगल बादशाह बाबर ने क्या किया उससे कोर्ट को कोई लेना-देना नहीं है। अदालत सिर्फ यह देखेगी कि अयोध्या में विवादित स्थल का मौजूदा हाल क्या हैं।
चीफ जस्टिस रंजन गोगोई, जस्टिस एस.ए. बोबडे, जस्टिस डी.वाई. चंद्रचूड़, जस्टिस अशोक भूषण और जस्टिस सैयद नजीर अहमद इस बेंच में हैं।
बेंच अयोध्या की विवादित जमीन को लेकर हिंदू और मुस्लिम पक्ष के बीच समझौता वार्ता कराने का तरीका खोजने की कोशिश कर रही है।
वहीं, इस मामले में 14 में से एक पक्षकार हिंदू महासभा के वकील ने कोर्ट में कहा कि जमीन का बंटवारा नहीं हो सकता और ऐसे में वह मुस्लिम पक्षकारों से समझौते के लिए बातचीत नहीं करेगी।
कोर्ट ने सभी पक्षों की दलील सुनकर फैसला सुरक्षित रख लिया है।