नई दिल्ली: यूपीए अध्यक्ष सोनिया गांधी के दामाद रॉबर्ट वाड्रा की मुश्किलें आने वाले दिनों में बढ़ सकती हैं. गुरुग्राम में लैंड डील मामले में शनिवार को वाड्रा के साथ ही हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा के खिलाफ FIR दर्ज की गई है. इसके इसके साथ ही ओंकारेश्वर प्रॉपर्टीज और DLF (गुरुग्राम शाखा) के खिलाफ भी प्रथमिकी दर्ज की गई है.
FIR दर्ज होने के बाद रॉबर्ट वाड्रा ने कहा कि असली मुद्दों से ध्यान भटकाने के लिए ही उनके खिलाफ मामला दर्ज किया गया है. वाड्रा ने बयान जारी कर कहा कि, “चुनाव का दौर शुरू हो गया है, तेल की कीमतें बढ़ रही हैं इसलिए जनता के असली मुद्दों से भटका कर मेरे एक दशक पुराने मुद्दे को उठाया जा रहा है. इसमें नया क्या है.? ये एफआईआर भारतीय दंड संहिता की धारा- 420, 120B, 467, 468 और 471 के साथ प्रिवेंशन ऑफ करप्शन एक्ट 1988 की धारा 13 के तहत भी कार्रवाई की गई है.
गुरुग्राम में लैंड डील मामले में वाड्रा, हुड्डा, डीएलएफ कंपनी और गुरुग्राम की ओंकारेश्वर प्रोपर्टीज के खिलाफ दर्ज हुई प्राथमिकी में बताया गया है कि वाड्रा की कंपनी स्काई लाइट हॉस्पिटेलिटी ने गुरुग्राम के सेक्टर 83, शिकोहपुर, सिंकदरपुर, खेडकी दौला और सिही में 7.5 करोड़ की जमीनें खरीदी और इनके वर्गीकरण में बदलाव के बाद इन्हें 55 करोड़ रुपए में बेच दिया.
इस जमीन से दोनों कंपनियों को करीब पांच हजार करोड़ रुपये का फायदा पहुंचाया गया. इसके अलावा ओमकारेश्वर प्रॉपर्टीज के भी मामले में शामिल होने के आरोप हैं. इसके अलावा इन कंपनियों के जो लाइसेंस दिखाए गए, उनमें भी अनियमितता पाई गई है. इस जमीन का आवंटन भूपेंद्र सिंह हु़ड्डा के जरिए किया गया था.