बीजेपी-शिवसेना में जुबानी जंग जारी, शिवसेना अकेले मैदान में उतरने को तैयार
2019 के लोकसभा चुनावों के काउंटडाउन की शुरुआत हो चुकी है. जनता को लुभाने के साथ साथ राजनीतिक दलों में एक दूसरे पर जुबानी बाण छोड़ने का दौर भी शुरु हो चुका है. पिछले काफी समय से सत्ताधारी बीजेपी और उसके सहयोगी दल के बीच खटपट की खबरें सियासी गलियारों में तेज थी.
लेकिन अब इनका विरोध और खुलकर सामने आ रहा है. अमित शाह के बयान से आहत शिवसेना ने अकेले चुनाव लड़ने के लिए कमर कस ली है.
सहयोगी दलों को देंगे शिकस्त- शाह
रविवार को महाराष्ट्र के लातुर में भारतीय जमता पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह ने कहा कि अगर गठबंधन होता है. तो पार्टी अपने सहयोगी दलों की जीत सुनिश्चित करेगी और अगर ऐसा नहीं होता है. तो पार्टी आगामी लोकसभा चुनावों में अपने पूर्व सहयोगियों को करारी शिकस्त देगी. हालांकि बीजेपी ने सीधे तौर पर यहां अपनी सहयोगी शिवसेना का नाम तो नहीं लिया लेकिन साफ है कि उनका ये इशारा शिवसेना की ओर ही था.
इसके अलावा शाह ने कहा था कि पार्टी कार्यकर्ताओं को गठबंधन की संभावनाओं भ्रम से दूर रहना चाहिए. अगर सहयोगी पार्टी साथ नहीं आती है तो उनको भी हम पटक देंगे. पार्टी कार्यकर्ताओं को हर बूथ पर तैयारी करना चाहिए.
बीजेपी का ईवीएम से गठबंधन-शिवसेना
अमित शाह के इस बयान से आहत होकर शिवसेना ने भी जवाब देने में देर नहीं लगाई और अकेले चुनावी भूमि में उतरने की तैयारी शुरु कर दी है. शिवसेना नेता नीलम गोहे ने मुंबई में कहा कि बीजेपी अब उन लोगों के साथ गठबंधन नहीं करना चाहती है जो हिंदुत्व में विश्वास रखते हैं और बीजेपी का चुनावी गठबंधन ईवीएम से है लेकिन शिवसेना को भी हर तरह की चुनौती स्वीकार है.
इसके साथ ही शिवसेना ने पांच राज्यों में बीजेपी की हुई हार को लेकर निशाना साधा और कहा कि इस हार के बाद बीजेपी के पैरों की तो जमीन खिसक गई थी और अब बीजेपी नेताओं की जुबान भी खिसकने लगी है. चुनौती भरे स्वर में शिवसेना ने कहा कि चुनाव के नतीजों से पता चलेगा कि कौन किसको पटकता है.