मनमोहन नहीं, पर्दे के पीछे से सरकार चलाती थीं सोनिया, 710 फाइलों से खुलासा करेगी बीजेपी

नई दिल्ली: 5 राज्यों के विधानसभा चुनाव की प्रक्रिया खत्म होने और संसद का शीतकालीन अधिवेशन शुरू होने के साथ ही राजनीति के और गर्माने के आसार हैं. सियासत में गर्मी की वजह बनने जा रही हैं वो 710 फाइलें, जो मोदी सरकार सार्वजनिक करेगी. इन फाइलों के जरिए बताया जाएगा कि 2004 से 2014 तक केंद्र में बैठी यूपीए सरकार के पीएम भले ही मनमोहन सिंह रहे हों, लेकिन पर्दे के पीछे असली कामकाज तत्कालीन कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ही संभालती थीं.

पर्दे के सामने मनमोहन, पीछे सोनिया !

अंग्रेजी अखबार “द न्यू इंडियन एक्सप्रेस” ने उन 710 फाइलों का हवाला देते हुए खबर छापी है कि यूपीए सरकार के दौरान सोनिया की अध्यक्षता वाली राष्ट्रीय सलाहकार परिषद यानी एनएसी ने किस तरह मनमोहन सरकार को निर्देश भेजे और सरकार ने उन निर्देशों को लागू किया. यानी पर्दे के सामने भले ही मनमोहन सिंह रहे हों, लेकिन सोनिया गांधी पीछे से पीएम का काम कर रही थीं और शायद इसी वजह से मनमोहन सिंह अपने पूरे कार्यकाल “मौन” बने रहे.

ये भी पढ़ें: उपेंद्र कुशवाहा ने दिया मोदी कैबिनेट से इस्तीफा, महागठबंधन में हो सकते हैं शामिल

क्या है इन फाइलों में ?

द न्यू इंडियन एक्सप्रेस ने इन फाइलों को देखने का दावा किया है और कहा है कि सोनिया की राष्ट्रीय सलाहकार परिषद ने सरकार को कोयला, ऊर्जा, विनिवेश, रियल एस्टेट, सामाजिक, आर्थिक और सरकार चलाने के तौर तरीके पर आदेश दिए. ये सभी महत्वपूर्ण नीतियों से संबंधित थे.

नौकरशाहों को तलब करती थीं सोनिया !

अखबार ने फाइलों को देखने के बाद ये दावा भी किया है कि सोनिया गांधी की अध्यक्षता वाली एनएसी केंद्र के नौकरशाहों को भी तलब करती थी. एनएसी का दफ्तर दिल्ली के 2 मोतीलाल नेहरू प्लेस पर था और यहां से मंत्रियों को चिट्ठियां भेजकर ये जानकारियां भी मांगी गई थीं कि जो एनएसी ने कहा है, वो काम हुआ है या नहीं. यानी सोनिया गांधी सुपर प्राइम मिनिस्टर बनी हुई थीं. जबकि, एनएसी का काम सरकार को नीतियों और उसके कामकाज को सुधारने के लिए सलाह देने का ही था.

ये भी पढ़ें: दिल्ली में महागठबंधन का शक्ति प्रदर्शन, बीजेपी ने कसा तंज

एनएसी ने ऐसे दिए निर्देश

अखबार ने 29 अक्टूबर 2005 को एनएसी की एक बैठक के एजेंडे का हवाला दिया है. बैठक के बारे में अखबार लिखता है कि इस बैठक में तय हुआ कि सरकार को जो भी करने को कहा गया है, वो काम पूरा हो रहा है या नहीं, इस पर नजर रखी जाएगी. वहीं, 25 फरवरी को फाइल नंबर 11012/2/2014-NAC में बताया गया है कि किस तरह सरकार के लिए एनएसी ने एजेंडा तय किया.

एक फाइल में लिखा है कि 21 फरवरी 2014 को अध्यक्ष (एनएसी की) ने पूर्वोत्तर में खेलों के विकास के लिए सरकार तक अपनी बात पहुंचाई है. इसी फाइल में नोटिंग है कि एनएसी अध्यक्ष की मंजूरी से सरकार को भारत में सहकारी संस्थाओं के विकास के लिए सुझाव भेजे गए हैं.

सोनिया ने बनाईं नीतियां ?

अखबार ने फाइल नंबर 9 का हवाला देते हुए लिखा है कि इसमें 16 सितंबर 2004 को सोनिया गांधी ने पीएम को भारी उद्योग और सार्वजनिक क्षेत्र के बारे में लिखा था. सरकार ने इस पर उन्हें जवाब में बताया कि विनिवेश आयोग को दोबारा बनाने और इसका नया बोर्ड गठन करने का इरादा है. सोनिया ने इस पर बताया कि वो किस तरह का बोर्ड चाहती हैं. जिस पर पीएम (मनमोहन सिंह) ने आगे कदम उठाया. इसी तरह के कई फाइलों और सरकार की ओर से उस पर उठाए गए कदमों के बारे में भी अखबार ने छापा है.

Related Articles

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Stay Connected

0FansLike
0FollowersFollow
0SubscribersSubscribe

Latest Articles