बिहार के अररिया में आयोजित विशाल जनसभा में पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा कि अभी मैं बंगाल में कार्यक्रम करके आ रहा हूं। जैसा जनसैलाब बंगाल में देखा, वैसा ही जनसैलाब यहां भी है।
आप इस ताप में जो तप रहे हैं, ये तपस्या मैं बेकार नहीं जाने दूंगा। ब्याज सहित लौटाऊंगा। विकास करके लौटाऊंगा।
पीएम नरेंद्र मोदी का आह्वान
ये धरती महान साहित्यकार फणीश्वर नाथ रेणु जी की जन्मस्थली भी है। अभी उनके सुपुत्र जी के द्वारा उनका उपन्यास ‘मैला आंचल’ मुझे भेंट किया गया।
उसी ‘मैला आंचल’ में लिखा है- मैं साधना करूंगा, ग्रामवासिनी भारत माता के मैले आंचल तले, मैं साधना करूंगा, ग्रामवासिनी भारत माता के मैले आंचल तले।
पीएम ने कहा कि किसी भी जाति से पहले, किसी भी पंथ से पहले हम भारतीय हैं। हमारी पहचान भारतीय है। मां भारती की सेवा, साधना की भावना के साथ ही बीते पांच साल में मैंने पूरी ईमानदारी से आपकी सेवा की है।
उन्होंने कांग्रेस और आरजेडी पर हमला करते हुए कहा कि जब सत्ताभोग और परिवार का विकास लक्ष्य हो, तो हर जगह कलह और बंटवारा ही दिखाई देता है।
उन्होंने कहा कि आज देश के एक तरफ वोटभक्ति की राजनीति है और दूसरी तरफ राष्ट्रभक्ति की। 26/11 को मुंबई में आतंकियों ने हमला किया, तो तब की कांग्रेस सरकार ने सेना को कुछ भी जवाब देने से मना कर दिया, क्योंकि उन्हें वोटबैंक की राजनीति करनी थी।
पीएम ने कहा कि हमारी सरकार में आतंकवाद के खिलाफ पहले सर्जिकल स्ट्राइक हुई और फिर एयर स्ट्राइक हुई। परिणाम ये हुआ कि जो पाकिस्तान पहले चोरी और सीनाजोरी करता था, वो आज दुनिया में जाकर गुहार लगा रहा है।
उन्होंने कहा कि यह नया भारत है। हमारे नए भारत ने आतंकियों को घर में घुसकर मारा। देशभक्ति जब प्रेरणा देती है, तो सबका साथ-सबका विकास सरकार का मंत्र बन जाता है। सबको सुरक्षा-सबको सम्मान प्रतिज्ञा बन जाती है।
पीएम ने कहा, ‘मैं हमारे जवानों के पराक्रम पर सवाल उठाने वालों को चुनौती देता हूं कि हिम्मत है, तो चुनाव में जनता के बीच जाओ और पुलवामा के शहीदों का हमने जो बदला लिया है, उसपर चर्चा करके देखो। सेना के पराक्रम पर सवाल पूछकर देखो। मेरी चुनौती है, नहीं पूछ पाएंगे।’
मोदी ने कहा कि मेरा एक सपना है और मेरा सपना बेकार नहीं होता, मेरा सपना संकल्प होता। अपने संकल्प के लिए मैं अपना पल-पल खपा देता हूं। मेरा सपना है, 2022 तक देश के हर व्यक्ति का अपना पक्का घर हो।