बांदाः उत्तर प्रदेश के बांदा जिले के कमासिन थाना परिसर में चार सितंबर को कथित रूप से महिला कांस्टेबल नीतू शुक्ला ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली थी. इस मामले में शनिवार को उसके पिता और परिजनों ने पुलिस अधीक्षक से मिलकर तत्कालीन थानाध्यक्ष और तीन पुलिसकर्मियों के खिलाफ हत्या की तहरीर देकर मुकदमा दर्ज करने की मांग की है, हालांकि एसपी ने सिर्फ जांच का भरोसा देकर टरका दिया है.
पुलिस अधीक्षक एस.आनंद ने रविवार को बताया, “मृत सिपाही नीतू के पिता ने एक तहरीर दी है, जिसमें तत्कालीन थानाध्यक्ष प्रतिमा सिंह, सिपाही नेहा शुक्ला, नीलम वेणु और तस्लीम अहमद को नामजद किया गया है.”
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उन्होंने कहा “मामले की जांच निष्पक्ष रूप से कराई जा रही है, बरामद सुसाइड नोट को सत्यापन के लिए भेजा गया है. साथ ही जांच पूरी होने तक प्रतिमा सिंह के कमासिन थाना जाने में रोक लगा दी गई है” अनिल कुमार शुक्ला ने रविवार को फोन पर बताया, “एसपी ने हो रही जांच के निष्कर्ष के बाद कार्रवाई का भरोसा देकर वापस कर दिया है।”
उन्होंने फिर दोहराया कि “मौत के हालात बता रहे थे कि बेटी ने आत्महत्या नहीं की, बल्कि उसकी हत्या कर फांसी पर लटकाया गया है.” इस बीच सोशल मीडिया में यह मामला गरमाता जा रहा है और कांग्रेस की वरिष्ठ महिला नेता सीमा खान इस मुद्दे को जनता की अदालत में ले जाने की रणनीति बना रही हैं. सीमा खान ने कहा, “जिन पुलिस अधिकारियों के कंधों पर महिलाओं की सुरक्षा की जिम्मेदारी है, वह अपने ही मातहत को न्याय नहीं दे पा रहे हैं.”