लखनऊ: उत्तर प्रदेश के बाराबंकी से बड़ी खबर आ रही है। निर्वाचन आयोग से अनुमति मिलने के बाद 65 लाख रुपये वसूली के मामले में बाराबंकी के पुलिस अधीक्षक डॉ. सतीश कुमार को निलंबित कर दिया गया है। बाराबंकी साइबर क्राइम सेल प्रभारी अनूप कुमार यादव द्वारा की गई वसूली में एसपी ऑफिस की भूमिका संदिग्ध पाई गई है। जिस पर उनके खिलाफ एक्शन लिया गया। नए पुलिस अधीक्ष की तैनाती के लिए चुनाव आयोग को तीन नामों का पैनल भेजा गया है। बताया जा रहा है कि शाम तक नए एसपी की तैनाती हो जाएगी।
क्या है मामला-
विश्वास ट्रेडिंग कंपनी के शंकर गायन ने लखनऊ में हजरतगंज कोतवाली में एफआईआर दर्ज कर साइबर क्राइम सेल के प्रभारी अनूप कुमार यादव व उसके साथियों पर 65 लाख रुपये की वसूली का आरोप लगाया था। आरोप था कि अनूप ने कंपनी के प्रसनजीत सरदार, शंकर गायन और धीरज श्रीवास्तव को कंपनी के खिलाफ दर्ज धोखाधड़ी के मामले की जांच के बहाने दस्तावेज के साथ 10 जनवरी को पुलिस अधीक्षक कार्यालय में बुलाया। वहां से अपने आवास ले जाकर 65 लाख की मांग के साथ कंपनी बंद कराने की धमकी दी। उन्होंने डर के चलते 65 लाख दे दिए। अनूप ने 11 जनवरी को फिर बुलाया और जेल भेज दिया।
आरोप है कि कंपनी के लोगों को एसपी के दफ्तर में बुलाकर धमकाया गया। डॉ। सतीश के इस मामले में लापरवाही करने की भी बात सामने आई। हालांकि पुलिस का कहना है कि अधिकारियों ने उनसे सवाल किए तो वे कोई संतोषजनक जवाब नहीं दे सके। डीजीपी ओपी सिंह ने प्रमुख सचिव गृह अरविंद कुमार को एसपी के खिलाफ कार्रवाई का प्रस्ताव सौंपा था। गृह विभाग से यह प्रस्ताव मुख्य सचिव अनूप चंद्र पांडेय के पास भेजा गया। प्रस्ताव पर राज्य सरकार ने सहमति जता दी है।