शीतकाल के लिए बंद हुए बाबा केदार के कपाट
उत्तराखंड: केदारनाथ धाम के कपाट आज सुबह विधि विधान के साथ शीतकाल के लिए बंद हो गए. कपाट बंद होने के बाद शुक्रवार रात्री प्रवास के लिए बाबा की डोली रामपुर पहुंचेंगी. केदारघाटी में बाबा के आगमन से लोगों में उत्साह है. इसके साथ ही इस साल केदारनाथ यात्रा ने नया इतिहास भी रचा है.
पहली बार केदारनाथ धाम में 7लाख 30 हजार से ज्यादा यात्री पहुंचे. बता दें की शीतकाल के छह माह तक बाबा केदार की पूजा-अर्चना पंचगद्दीस्थल ओंकारेश्वर मंदिर ऊखीमठ में होंगी. बताया जाता है कि कपाट बंद होने पर मंदिर में एक दीप प्रज्ज्वलित किया जाता है और 6 महीने के बाद जब कपाट खोले जाते हैं तब तक यह दीप जलता रहता है.
मान्यता है कि इस दौरान देवतागण भगवान शिव की पूजा करते हैं और इस दीप को जलाए रखते हैं. कपाट खुलने पर मंदिर के अंदर जल रह दीप के दर्शन करना बड़ा ही पुण्यदायी माना जाता है. यही वजह है की केदार बाबा के दर पर हर साल बड़ी संख्या में श्रद्धालु दर्शन करने पहुचते हैं.