बच्चों को ऐसी शिक्षा दें जो कि उसे संस्कारवान और एक योद्धा बनाये: रमेश पोखरियाल

राष्ट्रीय शैक्षिण अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद् (एनसीईआरटी) का आज राजधानी दिल्ली में 59वाँ स्थापना दिवस मनाया गया है। इस मौके पर मुख्य अतिथि के रूप में देश के HRD मंत्री रमेश पोखरियाल ‘निशंक’ कार्यक्रम में मौजूद रहे।

बतादें कि राजधानी दिल्ली में सोमवार को राष्ट्रीय शैक्षिक अनुसंधान और प्रशिक्षण परिषद् (एनसीईआरटी) का 59 वाँ स्थापना दिवस मनाया गया। यहाँ आयोजित हुए कार्यक्रम के मुख्य अतिथि के रूप में देश के माननीय मानव संसाधन मंत्री (HRD) मंत्री रमेश पोखरियाल ‘निशंक’ पहुंचे हुए थे। जहाँ उन्होंने द्वीप प्रज्वलित कर कार्यक्राम की शुरुआत की। कार्यक्रम में एनसीईआरटी के निदेशक एचके सेनापती ने केन्द्रीय मंत्री रमेश पोखरियाल निशंक को पौधा भेंट कर उनका स्वागत और सम्मान किया।

एनसीईआरटी के 59 वें स्थापना दिवस के मौके पर कार्यक्रम को संबोधित करते हुए HRD मंत्री रमेश पोखरियाल ‘निशंक’ ने कहा कि, आज हम एनसीईआरटी के 59 वें स्थापना दिवस के मौके पर एक साथ इकठ्ठा हुए हैं। इस मौके पर उत्सव को मनाते हुए हम आगे के रास्ते को भी तय कर रहे हैं और पिछले 59 सालों का मूल्यांकन भी कर रहे हैं। आगे HRD मंत्री ने कहा कि एनसीईआरटी इस देश की शिक्षा की आधारशिला है। शिक्षा किसी भी व्यक्ति परिवार, समाज और राष्ट्र की रीढ़ हड्डी है। उन्होंने कहा कि शिक्षा है तो सबकुछ है और शिक्षा नहीं तो कुछ भी नहीं है।

आगे पोखरियाल ने कहा हम जीवन के अंतिम क्षण तक शिक्षार्थी होते हैं। आगे उन्होंने कहा कि शिक्षा के साथ संस्कार भी जरूरी है। इस लिए संस्कार युक्त शिक्षा की बहुत जरूरत है। उन्होंने कहा कि एनसीईआरटी ने जो इस साल प्रतिभा खोज कर उन्हें छात्रवृति देने का फैसला किया है। अगले साल उनकी संख्या 2000 से बढ़कर तीन हजार कर देंगे। आगे उन्होंने कहा कि बच्चों को शिक्षा देने के मामले में ऐसी शिक्षा दें जोकि उसे संस्कारवान और एक योद्धा बनाये। केन्द्रीय मंत्री ने कहा कि, मैं समझता हूँ कि प्राइमरी से उसे ऐसी शिक्षा दी जाए, जिसमें बच्चे के अंदर संस्कार युक्त, अपनी भाषा के प्रति सम्मान और उस भाषा के प्रति कैसे उसका लगाव बढ़े। इसके लिए नई शिक्षा नीति के लिए देशभर से 2 लाख से अधिक सुझाव मिले हैं।

आगे उन्होंने कहा कि एनसीईआरटी को राष्ट्रीय महत्व की संस्था बनाने पर जोर दिया जा रहा है। जिससे यह और ताकत के साथ अपने पाठ्यक्रम को आगे बढाये और इस देश का गौरव बने। आगे पोखरियाल ने कहा कि, ‘34 करोड़ की लागत से एक ऑडिटोरियम बन रहा है। आज उसका शिलान्यास किया गया है। एनसीईआरटी के 59वें स्थापना दिवस के मौके पर तीन किताबों का हुआ विमोचन भी किया गया है। वीर गाथा, मजेदार है गणित और टीचिंग लर्निंग ऑफ़ इक्नोमिक्स इन इन्क्लूसिव एजुकेशन सेटिंग शामिल है। कार्यक्रम में अपने पाठ्यक्रम और पाठ्य पुस्तकों के माध्यम से राष्ट्र की नींव को मजबूत करने में एनसीईआरटी और इसकी सभी घटक इकाइयों के प्रयासों की सराहना की।

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