देहरादून, राजसत्ता एक्सप्रेस। कोरोना काल में जनता को राहत देने के लिए उत्तराखंड सरकार ने प्रदेशवासियों के लिए राहत का पिटारा खोल दिया है। सरकार ने किसानों, होटल-ढाबा मालिकों और उद्योगों के लिए कई तरह के ऐलान किये। सूबे के मुखिया त्रिवेंद्र सिंह रावत की अध्यक्षता में बुधवार को हुई मंत्रिमंडल की बैठक में चार प्रस्तावों को मंजूरी दी गई। इनमें जनता को बिजली बिलों में राहत जैसे फैसले लिए गए हैं। कैबिनेट मंत्री मदन कौशिक ने इस बारे में जानकारी दी। उन्होंने बताया कि चार श्रेणियों में दी गई राहत से सरकार पर 17.64 करोड़ रुपये का अतिरिक्त व्यय भार पड़ेगा। आइये आपको बताते हैं कि त्रिवेंद्र सरकार ने अपने पिटारे से जनता को किस तरह की रियायतें दी हैं।
बिजली बिलों में राहत
सरकार ने लॉकडाउन की अवधि के दौरान घरेलू उपभोक्ताओं से लेकर कारोबारियों तक हर वर्ग के लोगों को बिजली बिल भुगतान में चार श्रेणियों में ब्याज और अधिभार में छूट को मंजूरी दी है। साथ ही बिजली बिल का ऑनलाइन भुगतान करने पर उपभोक्ताओं को एक प्रतिशत की छूट मिलेगी। इसके अलावा होटल-रेस्टोरेंट और ढाबा मालिकों राहत भी दी गई है। इन्हें तीन महीने यानी अप्रैल, मई और जून का फिक्स चार्ज नहीं देना होगा। उद्योगों से लिए जाने वाले फिक्स डिमांड चार्ज को जून तक स्थगित कर दिया है। सरकार के इस फैसले का लाभ करीब 2.91 लाख उपभोक्ताओं को लाभ मिलेगा।
किसान उपभोक्ताओं को भी राहत
इसके अलावा सरकार ने नलकूप श्रेणी के किसान उपभोक्ताओं को भी राहत दी है। सरकार की ओर से जून तक के बिलों में विलंब भुगतान अधिभार में छूट दी गई है। बिल को 30 जून तक जमा कराने वालों को छूट भी दी जाएगी। सरकार ने इस पर लगने वाले साढ़े तीन करोड़ से भी ज्यादा ब्याज को माफ कर दिया है। इससे राज्य के करीब 20 हजार किसानों को मिलेगा लाभ मिलेगा।
बॉयलर जांच का समय बढ़ाया
सरकार ने उद्योगों में लगे बॉयलर की जांच की समय सीमा भी बढ़ा दी है। बॉयलर की जांच अब 31 मई के बजाए जून तक कराई जा सकती है। सरकार ने उद्योगों के लिए बॉयलर अधिनियम 1923 में छूट दी है।