उत्तराखंड से राज्यसभा की सीट पर किसकी बुकिंग? BJP में इन नामों पर चल रही है चर्चा

उत्तराखंड में कहने को तो राज्यसभा की सिर्फ 3 ही सीट हैं, लेकिन फिर भी इनसे राजनीति और सियासी दांवपेंच में किसी तरह की कोई कमी देखने को नहीं मिलती है। इस बार के चुनाव में भी मामला कुछ इसी तरह का बनता नजर आ रहा है। इस बार बीजेपी का उम्मीदवार ही राज्यसभा जाएगा, यह बात लगभग तय है। लेकिन, उम्मीदवार कौन होगा, सियासी गलियारों में सबसे ज्यादा इसी बात की चर्चा हो रही है। 25 नवंबर को राज्यसभा की सीट खाली हो रही है, जिसके लिए 9 नवंबर को चुनाव होना है। अधिसूचना जारी होने के बाद इसके लिए नामांकन की प्रक्रिया शुरु हो जाएगी।

उत्तराखंड: नहीं कटेगा कर्मचारियों का भत्ता, इन्हें जरूर देनी पड़ेगी हर महीने एक दिन की सैलर

भाजपा के पास सिर्फ एक हफ्ते का समय

नामांकन करने की अंतिम तारीख 27 अक्टूबर है। अब ऐसे में सिर्फ एक हफ्ते का ही समय है भारतीय जनता पार्टी के पास, जिसमें उसे अपने सभी उम्मीदवारों के नाम फाइनल कर नामांकनकराना है। इसी को लेकर फिलहाल पार्टी के अंदर काफी गहमागहमी है। उम्मीदवार का नाम फाइनल करने के लिए कई बातों का खास ध्यान दिया जा रहा है। इनमें से एक यह भी है कि राज्यसभा जिस उम्मीदवार को भेजा जाना है, उसका सीधा संबंध उत्तराखंड से होना जरूरी है, ताकि राज्य के अहम मुद्दे राज्यसभा में उठाए जा सकें। यहां आपको बता दें कि, फिलहाल इस सीट पर कांग्रेस के राजबब्बर सांसद हैं। एक्टर और नेता राजबब्बर यूपी में तो सक्रिय रहे, लेकिन उत्तराखंड से अपना ताल्लुक नहीं जोड़ पाए। इसी कमी को इस बार बीजेपी अपना हथियार बनाना चाहती है।

इन नामों पर जारी है रही चर्चा

पार्टी से संबंधित लोगों और मीडिया रिपोर्ट्स से ये पता चल रहा है कि पार्टी के अंदर पूर्व सीएम विजय बहुगुणा, अनिल गोयल, शौर्य डोभाल जैसे नामों पर राय की जा रही है। इनके अलावा मध्य प्रदेश से बीजेपी नेता कैलाश विजयवर्गीय और हरियाणा के सुरेश भट्ट के नाम पर भी बातचीत हो रही है। हालांकि, उम्मीदवार के नाम पर अंतिम मुहर बीजेपी संसदीय बोर्ड ही लगाएगी।

उत्तराखंड से अब तक के राज्यसभा सांसद

उत्तराखंड से अब तक कुल 13 सांसद राज्यसभा पहुंचे हैं। इनमें बीजेपी के भगत सिंह कोश्यारी, मनोहर कांत ध्यानी, संघ प्रिय गौतम, तरुण विजय, सुषमा स्वराज और अनिल बलूनी शामिल हैं। इसके साथ ही कांग्रेस के हरीश रावत, राजबब्बर, सतीश शर्मा, सत्यव्रत चतुर्वेदी, महेंद्र सिंह महारा, मनोरमा डोबरियाल शर्मा और प्रदीप टम्टा हैं।

Previous articleमुनव्वर राणा की बेटी सुमैया बोलीं- कुछ भी हो जाए नहीं लागू होने देंगे CAA-NRC
Next articleभोजपुरी फिल्मों से खत्म होगी अश्लीलता, होगा सेंसर बोर्ड का गठन: रवि किशन