WHO ने पहली बार समझाया है कि कोरोना से बचाव के लिए क्या खाएं और क्या ना खाएं, आप भी देखिए

राजसत्ता एक्सप्रेस। कोरोना वायरस को लेकर पहली बार विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) की तरफ से खान-पान को लेकर गाइडलाइन जारी की गई हैं। इसके पहले संगठन ने साफ-सफाई और सुरक्षा को लेकर कई अहम दिशा निर्देश जारी किए हैं। फूड सेफ्टी को लेकर WHO ने कुछ टिप्स दिए हैं। साथ ही, बताया कि आखिर ये किस लिए जरूरी है। WHO की इन्हीं गाइडलाइंस के मुताबिक, जानते हैं कि आखिर खाने को सुरक्षित रखने के लिए किन पांच तरीकों का इस्तेमाल किया जा सकता है।

सफाई का विशेष ध्यान

सबसे जरूरी और अहम है खाना बनाते वक्त साफ-सफाई का ध्यान रखना। खाना बनाने से पहले या फिर कोई भी खाद्य सामग्री छूने से पहले अपने हाथों को अच्छी तरह से धो लें। टॉयलेट होकर आने के बाद अपने हाथों को अच्छे से साफ करें। खाना बनाने के दौरान इस्तेमाल होने वाली सभी सतह को अच्छे से धोकर उसे सेनेटाइज कर लें। किचन एरिया में किसी भी तरह के कीड़-मकोड़ों से दूर रखें। कोई जानवर (पालतू) वहां न पहुंचे।

ये जरूरी क्यों है कि ये भी जान लीजिए। वैसे तो अधिकांश सूक्ष्मजीव बीमारी की वजह नहीं होते हैं, लेकिन गंदी जगहों पर, पानी और जानवरों में व्यापक रूप से खतरनाक सूक्ष्मजीव पाए जाते हैं। ये खतरनाक सूक्ष्मजीव बर्चन पोंछने वाले कपड़े, कटिंग बोर्ड आदि में आसानी से आ जाते हैं, जो आपको हाथों से जरिए खाने तक पहुंच जाते हैं। इस तरह कई तरह के खाद्य जनित रोग या बीमारी हो सकती हैं।

अलग-अलग रखें कच्चा और पका खाना
कच्चे और पके हुए खाने को अलग-अलग रखें। किचन के अन्य खाद्य पदार्थों से कच्चे मीट, चिकन या सी फूड्स आदि को दूर रखें। इनके बर्तन भी अलग रखें। यहां तक की कच्चे भोजन में इस्तेमाल होने वाले कटिंग बोर्ड्स और चाकू का इस्तेमाल दूसरा खाना बनाने के लिए बिल्कुल न करें।

कच्चे और पके भोजन में दूरी बनाने के लिए इन्हें किसी बंद बर्तन में रखें। दरअसल, कच्चे भोजन जैसे मांस, पोल्ट्री, सी फूड्स आदि में खतरनाक सूक्ष्मजीव हो सकते हैं। खाना बनाने के दौरान ये दूसरे भोजन में भी जा सकते हैं, इसलिए इनका अलग रखना जरूरी होता है।

खाने को अच्छे से पकाना जरूरी
खाने को अच्छी तरह से पकाए, खासतौर पर मीट, अंडे पोल्ट्री और सी फूड्स को। 70 डिग्री सेल्सियस पर इन्हें धीरे-धीरे उबालकर अच्छे से पकाएं। ध्यान रहें, इनका सूप बनाते वक्त ये गुलाबी रंग का न दिखे। पकने के बाद ये बिल्कुल साफ दिखना चाहिए। तापमान को मापने के लिए आप थर्मामीटर का इस्तेमाल भी कर सकते हैं। वहीं, पका हुआ भोजना खाने से पहले उसे एक बार फिर से अच्छे से गर्म कर लें। दरअसल, अच्छी तरह से खाना पकाने से सारे कीटाणु मर जाते हैं। एक स्टडी के मुताबिक, 70 डिग्री सेल्सियस तापमान पर पका भोजन सबसे ज्यादा सुरक्षित होता है।

सुरक्षित तापमान पर रखें खाना

पके खाने को सुरक्षित तापमान पर फ्रिज में रखें। कमरे के तापमान पर बने खाने को दो घंटे से अधिक न छोड़ें। खाना अगर ठंडा हो गया है, तो परोसने के पहले उसे कम से कम 60 डिग्री सेल्सियस तापमान पर अच्छे से गर्म कर लें। बहुत देर तक खाने को फ्रिज में भी न रखें। दरअसल, सूक्ष्मजीव बहुत सी तेजी से कमरे के तापमान पर रखे खाने में बढ़ने लग जाते हैं। हालांकि, ये सूक्ष्मजीव 5 डिग्री से कम और 60 डिग्री से ज्यादा तापमान में पनपने बंद हो जाते हैं। इनमें से कुछ खतरनाक कीटाणु भी होते हैं, जो कि 5 डिग्री से भी कम तापमान पर पनपते हैं।

साफ पानी का इस्तेमाल
पीने और खाने बनाने के लिए स्वच्छ पानी का ही इस्तेमाल करें। अच्छा रहेगा अगर आप पानी पीने से पहले उबाल लेते हैं तो। सब्जियों और फलों को भी रगड़-रगड़कर अच्छे से धुल लें। ताजा और पौष्टिक खाद्य पदार्थों का इस्तेमाल करें। पाश्चराइज्ड मिल्क सुरक्षा के लिहाज से बेहतर होता है। ध्यान रहे एक्सपायरी डेट से आगे किसी भी खाने की चीज का इस्तेमला न करें। बता दें कि पानी हो या बर्फ…कई बार इनमें भी खतरनाक सूक्ष्मजीव पनपने लग जाते है, जिससे पानी के जहरीला होने की संभावना बढ़ जाती है।

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